Blogs | संजय किशोर |मंगलवार अगस्त 25, 2020 12:22 PM IST 2007 में टीम इंडिया की कप्तानी मिलने के बाद धोनी ने कहा था कि कप्तानी मिलना किसी परीकथा से कम नहीं है. 2004 में करियर की शुरुआत करने के 16 साल बाद जब वह क्रिकेट को अलविदा कह रहे हैं, तो सचमुच उनकी कामयाबी चमत्कार लगती है. प्रेरणादायक भी है और उनकी कहानी में कभी उम्मीद नहीं छोड़ने की सीख भी है.