Coronavirus: राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के कारण हजारों छात्रों के लिए ऑनलाइन कक्षाएं आयोजित कर रहे दिल्ली विश्वविद्यालय ( Delhi University) के प्रोफेसरों के सामने इंटरनेट की सुस्त रफ्तार और कनेक्टिविटी एक चुनौती बनकर उभरी है. प्रोफेसर और छात्र कॉलेज का एक साल बचाने और अध्ययन जारी रखने के लिए स्काइप, वाट्सऐप से लेकर जूम ऐप जैसे कई डिजिटल मंचों का इस्तेमाल कर रहे हैं.
दिल्ली विश्वविद्यालय ने 12 मार्च को एक परिपत्र जारी कर स्नातक और स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों के लिए आंतरिक परीक्षाएं 31 मार्च तक स्थगित कर दी थी. कोरोनावायरस के खतरे के मद्देनजर कक्षाएं और सभी कामकाज पर भी रोक लगा दी गयी थी. विश्वविद्यालय में करीब दो लाख छात्र और संकाय के करीब 9500 सदस्य हैं.
सेंट स्टीफंस कॉलेज की प्रोफेसर नंदिता नारायण ने कहा कि अध्यापक गूगल क्लासरूम का इस्तेमाल कर रहे हैं और पुराने लेक्चर को यूट्यूब पर अपलोड कर रहे हैं. उन्होंने कहा, "सब कुछ अनौपचारिक रूप से चल रहा है. कई छात्रों की पहुंच नेट तक नहीं है लेकिन हम हर मुमकिन कोशिश कर रहे हैं. "
कोरोनावायरस (Coronavirus) के कारण छात्र दोहरी मुसीबत का सामना कर रहे हैं क्योंकि तेज रफ्तार इंटरनेट के लिए वे इंटरनेट कैफे भी नहीं जा सकते. विज्ञान विषयों में प्रायोगिक कक्षाओं की जरूरत होती है ऐसे में इसकी भी आशंका है कि विश्वविद्यालय को सेमेस्टर का विस्तार करना होगा.
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