नई दिल्ली: देश में कोरोनावायरस के कहर लगातार जारी है. कोरोना संक्रमित लोगों के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. महाराष्ट्र में कोरोनावायरस से संक्रमित लोगों के सबसे ज्यादा मामले सामने आ रहे हैं. राज्य में कोरोना से पनपे हालातों को देखते हुए महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने नॉन प्रोफेशनल (Non-Professional) और प्रोफेशनल (Professional) कोर्स के फाइनल ईयर या फाइनल सेमेस्टर की परीक्षाओं को कैंसिल करने का फैसला किया है. मुख्यमंत्री ने अपने ट्विटर हैंडल के जरिए इस बात की जानकारी दी है. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा, "महाराष्ट्र सरकार ने प्रोफेशनल और नॉन- प्रोफेशनल कोर्सेस के लिए फाइनल ईयर और फाइनल सेमेस्टर की परीक्षाएं न कराने का निर्णय लिया है, क्योंकि मौजूदा स्थिति किसी भी तरह की परीक्षा या कक्षाओं का संचालन करने के लिए अनुकूल नहीं है."
वहीं, हाल ही में महाराष्ट्र सरकार (Maharashtra Govt) ने केंद्र सरकार (Centre Govt) को पत्र लिखकर अनुरोध किया है कि कोरोनावायरस (Coronavirus) महामारी को देखते हुए चिकित्सा के परास्नातक छात्रों की परीक्षा टाल दी जाए. जन स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री राजेश टोपे ने बृहस्पतिवार को कहा कि चिकित्सा के परास्नातक छात्रों को राज्य में कोविड-19 के मरीजों और मामलों को देखना होता है.
उन्होंने कहा कि या तो उनकी परीक्षाएं टाल दी जाएं या जो छात्र परीक्षा दे रहे हैं उन्हें उत्तीर्ण घोषित कर दिया जाए. उन्होंने कहा कि इस संबंध में राज्य ने केंद्र को अपनी स्थिति से अवगत करा दिया है. टोपे ने यहां संवाददाताओं से कहा, “ज्यादातर परीक्षाएं अगस्त में होती हैं और वह तैयारियों में व्यस्त रहते हैं, लेकिन वर्तमान संकट को देखते हुए कोविड-19 मरीजों का उपचार करने और मानसून जनित अन्य रोगों के मरीजों को देखने के लिए हमें इन डॉक्टरों की जरूरत है.”
उन्होंने कहा, “इसीलिए हमने केंद्र से अनुरोध किया है कि इन डॉक्टरों की परीक्षाएं या तो टाल दी जाएं या उन्हें उत्तीर्ण घोषित कर दिया जाए. जो भी करें लेकिन उन्हें स्वास्थ्य सेवा में तैनात रखा जाए.”