कोरोना काल में स्कूल-कॉलेज बंद हैं, ऐसे में स्कूल जाने वाले बच्चों के लिए ऑनलाइन क्लास की पढ़ाई एकमात्र जरिया रह गई है. लाखों बच्चे स्मार्टफोन और इंटरनेट की सुविधा से महरूम हैं, ऐसे में उनका भविष्य अंधकारमय हो गया है. दिल्ली हाईकोर्ट ने इस डिजिटल खाई को देखते हुए निजी और सरकारी स्कूलों को आदेश दिया है कि आर्थिक रूप से पिछड़े और वंचित छात्रों को मुफ्त गैजेट और इंटरनेट सेवा मुहैया कराई जाए.