विज्ञापन

रमज़ान में रोज़ा रखकर इन 5 तरीकों से अपनी सेहत का रख सकते हैं ध्यान

अगर आप मधुमेह, हृदय रोग या किडनी की समस्या जैसी पुरानी बीमारी से पीड़ित हैं और रोज़ा रखना चाहते हैं, तो पहले अपने डॉक्टर से सलाह लें.

रमज़ान में रोज़ा रखकर इन 5 तरीकों से अपनी सेहत का रख सकते हैं ध्यान
सेहतमंद मुसलमानों से अपेक्षा की जाती है कि वे युवावस्था में पहुंचने के बाद रमज़ान के दौरान रोज़ा रखें.

Health care tips during Ramjan : रमज़ान' इस्लामी कलेंडर के सबसे अहम महीनों में से एक है. इसी महीने में कुरान पैगंबर मोहम्मद पर नाज़िल (अवतरित) हुआ था. इस मुद्दस (पाक) महीने में दुनियाभर की करीब 2 अरब मुस्लिम आबादी रोज़ा रखती है. इस दौरान सूरज निकलने से पहले होने वाली फज्र की नमाज़ और शाम में सूरज डूबते ही होने वाली मगरीब की नमाज़ के बीच के वक्त में रोज़ा रखने वाले समुदाय के सदस्य कुछ खाते-पीते नहीं हैं.

रमजान का मतलब ?

‘रमज़ान' का मतलब है मन, शरीर और आत्मा को शुद्ध करना और आत्म-संयम का अभ्यास करना. यह आध्यात्मिक विकास और ईश्वर (या अरबी में अल्लाह) के प्रति समर्पण का वक्त है. रमज़ान लोगों को दावतों के जरिए एक साथ लाने का काम करता है. रोज़े (व्रत) की अवधि 12 से 19 घंटे के बीच हो सकती है और यह इस बात पर निर्भर करता है कि आप कहां रहते हैं. इस दौरान रोजेदार कुछ खाते-पीते नहीं हैं.

हमारा शोध बताता है कि संतुलित, पोषक तत्वों से भरपूर खुराक और पेय पदार्थ चुनने से रमज़ान के दौरान आप सामान्य आहार की तुलना में स्वास्थ्य पर बेहतर तरीके से ध्यान दे सकते हैं और ऊर्जावान रह सकते हैं.

अगर आप रमज़ान में रोज़ा रख रहे हैं, तो आपको इन बातों का ध्यान रखना चाहिए.

क्या आपको कोई स्वास्थ्य समस्या है?

  • सेहतमंद मुसलमानों से अपेक्षा की जाती है कि वे युवावस्था में पहुंचने के बाद रमज़ान के दौरान रोज़ा रखें.अगर रोज़ा रखने से सेहत को खतरा हो तो पुरानी बीमारी या मानसिक स्वास्थ्य से पीड़ित लोगों को रोज़े रखने से छूट मिल सकती है. अगर आप मधुमेह, हृदय रोग या किडनी की समस्या जैसी पुरानी बीमारी से पीड़ित हैं और रोज़ा रखना चाहते हैं, तो पहले अपने डॉक्टर से सलाह लें.
  • कुछ खास बीमारियों से पीड़ित लोगों और दवाइयों पर निर्भर रहने वाले लोगों के लिए रोज़ा रखना गंभीर स्वास्थ्य संबंधी परिणाम की वजह बन सकता है. कुछ दवाओं को सुरक्षित और प्रभावी होने के लिए एक खास समय पर (और कुछ को भोजन के साथ) लेने की ज़रूरत होती है.
  • अगर आप रमज़ान के दौरान पर्याप्त पानी नहीं पीते हैं, तो आपका शरीर कुछ दवाओं पर अलग तरह से प्रतिक्रिया दे सकता है, हो सकता है कि वे उतनी अच्छी तरह से काम न करें या दुष्प्रभाव पैदा करें.

सुरक्षित रूप से रोज़ा रखने के लिए रमज़ान के दौरान यहां 5 सुझाव दिए गए हैं...

Latest and Breaking News on NDTV

1-  पहले योजना बनाएं

  • रमज़ान की तैयारी में, ज़रूरी चीज़ें जमा करके रखें. आपको क्या और कैसे खाना है और कितना पानी पीना है इसकी योजना पहले से बना लें, ताकि आपको पोषण की मात्रा का पूरा ध्यान रहे.
  • रमज़ान से पहले के हफ़्ते में धीरे-धीरे कैफ़ीन का सेवन कम करना शुरू करें, ताकि आपका शरीर इसके लिए तैयार हो सके. इससे रमज़ान के शुरुआती रोज़ों में होने वाले सिरदर्द को रोकने या कम करने में मदद मिल सकती है.
  • अपने भोजन को धीरे-धीरे सहरी (सुबह सूरज निकलने से पहले किए जाने वाला भोजन) और इफ्तार (रोज़ा तोड़ने का वक्त) के समय की ओर ले जाएं, ताकि आपका शरीर भोजन करने के नए समय के लिए अभ्यस्त हो जाए.
2 - शरीर में पानी की कमी न होने दें
  • रोज़े के दौरान शरीर में पानी की कमी न होने देना अहम है. महिलाओं को प्रतिदिन 2.1 लीटर (जैसे नारियल पानी, सूप, शोरबा या हर्बल चाय) और पुरुषों को 2.6 लीटर पानी या तरल पदार्थ पीने का लक्ष्य रखना चाहिए.
  • मीठे या कृत्रिम रूप से मीठे पेय पदार्थों और ताजे फलों के रस का आनंद सीमित व संयमित रूप से करें.  क्योंकि मीठे पेय पदार्थ रक्त में शर्करा के स्तर को तेज़ी से बढ़ाते हैं. 
  • शरीर इंसुलिन जारी करके प्रतिक्रिया करता है, जिससे रक्त शर्करा में गिरावट आती है और जिससे आपको थकावट, चिड़चिड़ापन और भूख लग सकती है.
  • अपने आहार में खीरा और तरबूज़ जैसे पानी से समृद्ध खाद्य पदार्थों को शामिल कर शरीर में पानी की स्थिति को बनाए रखें.
Latest and Breaking News on NDTV
3 - शहरी में पोषक तत्व शामिल करें

सूर्योदय से पहले, सहरी के वक्त पोषक तत्वों से भरपूर, धीरे-धीरे पचने वाला भोजन लें, साथ ही खूब सारा पानी पिएं.

मांस, मछली, छोले, टोफू, मेवे और बीजों से प्रोटीन और वसा युक्त स्वस्थ पोषक तत्वों से भरपूर भोजन चुनें

साबुत अनाज, विभिन्न प्रकार की सब्जियां और फल और अचार आदि का सेवन करें, जो आपकी पाचन में सहायता कर सकते हैं.

जब आप अपना भोजन तैयार करें, तो डीप फ्राई करने के बजाय ग्रिलिंग, स्टीमिंग या एयर फ्राई करने पर विचार करें.

केक, आइसक्रीम, चिप्स और चॉकलेट जैसे प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों से दूर रहें, क्योंकि इनमें अक्सर आवश्यक पोषक तत्वों की कम होती है और इनमें चीनी, नमक और वसा की मात्रा अधिक होती है. 
इसमें फाइबर और प्रोटीन की मात्रा भी कम होती है, जो पेट भरे होने का एहसास बनाए रखने के लिए बहुत ज़रूरी हैं.

4 - इफ्तारी में ज़्यादा खाने से बचें
  • इफ्तार लोग अपने परिवार और दोस्तों के साथ करते हैं. इस वक्त मिठाई, नमकीन स्नैक्स और वसायुक्त व्यंजनों का अधिक सेवन करने की इच्छा हो सकती है.
  • लेकिन अधिक भोजन करने से पाचन तंत्र पर दबाव पड़ सकता है, असुविधा हो सकती है और नींद में बाधा आ सकती है.
  • किसी हल्की चीज़ से शुरुआत करें, जैसे कि खजूर और एक गिलास पानी से. आप अपने मुख्य भोजन और अधिक तरल पदार्थों का सेवन करने से पहले मगरिब की नमाज़ अदा कर सकते हैं.
Latest and Breaking News on NDTV
5 -  कामकाज करते रहें
  • अंत में, अपनी फिटनेस और मांसपेशियों को बनाए रखने और अच्छी नींद के लिए अपनी रूटीन में हल्के व्यायाम को शामिल करने का प्रयास करें. मगर भारी कसरत करने से बचें.


 

(रोमी लॉचे और जेसिका बेयस, दक्षिणी क्रॉस विश्वविद्यालय और फातिमा अल-अस्साद, यूएनएसडब्ल्यू सिडनी)

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे: