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डॉक्टर ने कहा बच्चे को जरूर सिखानी चाहिए ये 3 चीजें, पैरेंट्स इस तरह समझाएं स्ट्रेंजर डेंजर का मतलब

Stranger Danger: बच्चों को खुद को सुरक्षित रखने के लिए स्ट्रेंजर डेंजर के बारे में पता होना जरूरी है. डॉक्टर पैरेंट्स को यही बता रहे हैं कि किस तरह बच्चों को कम उम्र से ही कुछ बातें सिखाना जरूरी होता है. 

डॉक्टर ने कहा बच्चे को जरूर सिखानी चाहिए ये 3 चीजें, पैरेंट्स इस तरह समझाएं स्ट्रेंजर डेंजर का मतलब
Things Parents Much Teach Children: बच्चों को खुद की सेफ्टी के लिए पता होनी चाहिए कुछ बातें. 

Parenting Tips: बच्चों को स्ट्रेंजर डेंजर के बारे में बताना बेहद जरूरी होता है. किसी अजनबी से खाने की कोई चीज ना लेना, अजनबी लोगों से बात ना करना और कोई भी उन्हें अगर जबरदस्ती अपने साथ ले जाने की कोशिश करे तो मना करना जैसी बातें आमतौर पर पैरेंट्स बच्चों को बताते ही हैं. लेकिन, बच्चों के सिर्फ यह बातें बताना ही नहीं बल्कि इन्हें आजमाना और खतरा पहुंचा सकने वाले लोगों को कैसे पहचानना है यह भी सिखाना जरूरी है. बच्चे किस तरह अपने आपको सुरक्षित रखें और पैरेंट्स को स्ट्रेंजर डेंजर (Stranger Danger) से जुड़ी कौनसी बातें बच्चों को जरूर बतानी चाहिए इस बारे में बता रहे हैं डॉक्टर सुरोजित गुप्ता. दिल्ली के आशीर्वाद चाइल्ड एंड फैमिली क्लिनिक के न्यूबॉर्न और चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉ. सुरोजित ने अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर इस वीडियो को शेयर किया है जिसमें वे बता रहे हैं कि बच्चे को सेफ रखने के लिए कौनसी 3 बातें हैं जो माता-पिता को अपने बच्चों को जरूर सिखानी चाहिए. 

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माता-पिता बच्चों को जरूर सिखाएं ये 3 बातें | 3 Things Parents Must Teach Children 

बेसिक पर्सनल जानकारी 

डॉक्टर का कहना है कि 3 साल की उम्र से बड़े बच्चों को अपने माता-पिता का नाम, फोन नंबर और घर का एड्रेस जरूर पता होना चाहिए. ये तीन बातें बच्चों को रटवाकर याद करानी चाहिए. कभी बच्चा कहीं खो जाए या भटक जाए तो इन्हीं बेसिक जानकारी (Basic Information) की मदद से उसे जल्द से जल्द घर पहुंचाया जा सकेगा. 

स्विमिंग कॉस्ट्यूम रूल 

लड़के और लड़कियों दोनों को ही स्विमिंग कॉस्ट्यूम रूल के बारे में बताएं. बच्चे स्विमिंग करने जाते हैं तो उन्हें समझाकर भेजें कि मम्मी पापा के अलावा उनके प्राइवेट पार्ट्स (Private Parts) को किसी और को छूने की परमिशन नहीं है. 

जोर से चिल्लाना 

बच्चों को यह सिखाएं कि बच्चे जब भी किसी के साथ अनकंफर्टेबल फील करें तो उन्हें जोर से चिल्लाना है. बच्चों को डरना नहीं है, घबराना नहीं है और झिझकना नहीं है बल्कि जोर-जोर से चिल्लाना है ताकि दूसरे लोग बच्चे की मदद के लिए आ सकें. 

डॉक्टर का कहना है कि इन स्ट्रेंजर डेंजर वाले रूल्स (Stranger Danger Rules) को पैरेंट्स को बिल्कुल भी इग्नोर नहीं करना है बल्कि बच्चों को ये रूल्स जरूर सिखाने हैं. इन बातों को सीखकर ही बच्चे खतरा देखने पर खुद को खतरे की स्थिति से निकाल सकेंगे. 

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