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This Article is From Dec 05, 2019

UPSC Civil Services: 2018 में सफल हुए आधे से ज्यादा हिन्दी और क्षेत्रीय भाषा के उम्मीदवार, 485 अभ्यर्थियों का हुआ चयन

UPSC Civil Services: सरकार ने बृहस्पतिवार को बताया कि मातृ भाषा के तौर पर हिन्दी या अन्य क्षेत्रीय भाषा चुनने वाले 485 अभ्यर्थियों का 2018 में सिविल सेवा में चयन हुआ.

UPSC Civil Services: 2018 में सफल हुए आधे से ज्यादा हिन्दी और क्षेत्रीय भाषा के उम्मीदवार, 485 अभ्यर्थियों का हुआ चयन
हिन्दी या अन्य क्षेत्रीय भाषा चुनने वाले 485 अभ्यर्थियों का 2018 में सिविल सेवा में चयन हुआ.
नई दिल्‍ली:

सरकार ने बृहस्पतिवार को बताया कि मातृ भाषा के तौर पर हिन्दी या अन्य क्षेत्रीय भाषा चुनने वाले 485 अभ्यर्थियों का 2018 में सिविल सेवा (UPSC Civil Services Exam) में चयन हुआ. कार्मिक, लोक शिकायत तथा पेंशन राज्य मंत्री डॉ जितेन्द्र सिंह ने राज्यसभा को एक प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS), भारतीय विदेश सेवा (IAF) तथा भारतीय पुलिस सेवा (IPS) में अधिकारियों का चयन करने के लिए हर साल सिविल सेवा परीक्षा का आयोजन किया जाता है.

सिंह ने बताया कि 2017 की परीक्षा के दौरान विभिन्न सेवाओं के लिए 1,056 अभ्यर्थियों की सिफारिश की गई. इनमें से 633 अभ्यर्थियों ने मातृ भाषा के तौर पर हिन्दी या अन्य क्षेत्रीय भाषा का चयन किया था. उन्होंने बताया कि 2016 की परीक्षा के दौरान विभिन्न सेवाओं के लिए चुने गए 1,204 अभ्यर्थियों में से 664 ने मातृ भाषा के तौर पर हिन्दी या अन्य क्षेत्रीय भाषा का चयन किया था.

डॉ सिंह ने लिखित उत्तर में यह भी बताया कि सरकार ऐसे कार्यबल के लिए प्रयत्नशील है जिसमें पुरुष तथा महिला उम्मीदवारों की संख्या में संतुलन हो. उन्होंने कहा कि महिला उम्मीदवारों को सिविल सेवाओं में शामिल होने की प्रतिभागिता के लिए प्रोत्साहित किया जाता है. महिला उम्मीदवारों को सिविल सेवा परीक्षा के लिए शुल्क का भुगतान करने की जरूरत नहीं है.

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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