नयी दिल्ली:
राजधानी दिल्ली के निजी स्कूलों की 25 प्रतिशत सीटों पर आर्थिक रूप से कमजोर (ईडब्ल्यूएस) और वंचित समूह (डीजी) श्रेणियों के लिए दाखिला मंगलवार से शुरू हो गया है.
शिक्षा निदेशालय ने सोमवार रात डीडीए की जमीन पर 298 निजी स्कूलों के अलावा इन दोनों श्रेणियों के तहत दाखिले के लिए दिशा-निर्देशों की घोषणा की थी. इन 298 स्कूलों को पहले अपनी दाखिला प्रक्रिया स्थगित करने को कहा गया था.
31 जनवरी को पूरी हो जाएगी एडमिशन प्रक्रिया
दोनों श्रेणियों के लिए दाखिला प्रक्रिया 31 जनवरी को पूरी हो जाएगी. पहली सूची 28 फरवरी को जारी होगी और दूसरी तथा तीसरी सूची क्रमश: 15 तथा 31 मार्च को आएगी.
आधार कार्ड अनिवार्य
सरकारी सूचना के अनुसार, ‘‘दिल्ली स्कूली शिक्षा अधिनियम के तहत मान्यता प्राप्त स्कूलों के लिए दाखिले ऑनलाइन प्रक्रिया और सेंटरलाइज्ड लॉटरी के माध्यम से होंगे ताकि पारदर्शिता और जवाबदेही तय हो सके. इससे करीब 1,158 स्कूलों तथा 28,000 विद्यार्थियों को लाभ होगा.’’ उसमें कहा गया है, ‘‘लॉटरी के बाद, निजी स्कूल उन विद्यार्थियों को सूचित कर देंगे जिन्हें दाखिला मिलने वाला है. दोहरे दाखिले की स्थिति को रोकने के लिए विभाग ने आधार कार्ड को अनिवार्य बना दिया है जो एक से ज्यादा आवेदनों के माध्यम से लाभ उठाने को रोकेगा.’’ हालांकि, एमसीडी स्कूलों और शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत मान्यता प्राप्त स्कूलों की दाखिला प्रक्रिया ऑफलाइन होगी.
इसमें हालांकि, निकटता को प्राथमिकता दी जाएगी लेकिन स्कूलों को निर्देश दिया गया है कि वह सभी आवेदनपत्रों को स्वीकार करें और बाद में उसकी छंटनी करें.
दिशा-निर्देशों के साथ-साथ स्कूलों की सूची और उनके यहां सीटों की संख्या भी बतायी गयी है.
शिक्षा निदेशालय ने कहा, ‘‘निजी स्कूलों के खिलाफ आने वाली शिकायतों से निपटने के लिए हमने एक दाखिला हेल्पलाइन और पोर्टल शुरू किया है.’’
शिक्षा निदेशालय ने सोमवार रात डीडीए की जमीन पर 298 निजी स्कूलों के अलावा इन दोनों श्रेणियों के तहत दाखिले के लिए दिशा-निर्देशों की घोषणा की थी. इन 298 स्कूलों को पहले अपनी दाखिला प्रक्रिया स्थगित करने को कहा गया था.
31 जनवरी को पूरी हो जाएगी एडमिशन प्रक्रिया
दोनों श्रेणियों के लिए दाखिला प्रक्रिया 31 जनवरी को पूरी हो जाएगी. पहली सूची 28 फरवरी को जारी होगी और दूसरी तथा तीसरी सूची क्रमश: 15 तथा 31 मार्च को आएगी.
आधार कार्ड अनिवार्य
सरकारी सूचना के अनुसार, ‘‘दिल्ली स्कूली शिक्षा अधिनियम के तहत मान्यता प्राप्त स्कूलों के लिए दाखिले ऑनलाइन प्रक्रिया और सेंटरलाइज्ड लॉटरी के माध्यम से होंगे ताकि पारदर्शिता और जवाबदेही तय हो सके. इससे करीब 1,158 स्कूलों तथा 28,000 विद्यार्थियों को लाभ होगा.’’ उसमें कहा गया है, ‘‘लॉटरी के बाद, निजी स्कूल उन विद्यार्थियों को सूचित कर देंगे जिन्हें दाखिला मिलने वाला है. दोहरे दाखिले की स्थिति को रोकने के लिए विभाग ने आधार कार्ड को अनिवार्य बना दिया है जो एक से ज्यादा आवेदनों के माध्यम से लाभ उठाने को रोकेगा.’’ हालांकि, एमसीडी स्कूलों और शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत मान्यता प्राप्त स्कूलों की दाखिला प्रक्रिया ऑफलाइन होगी.
इसमें हालांकि, निकटता को प्राथमिकता दी जाएगी लेकिन स्कूलों को निर्देश दिया गया है कि वह सभी आवेदनपत्रों को स्वीकार करें और बाद में उसकी छंटनी करें.
दिशा-निर्देशों के साथ-साथ स्कूलों की सूची और उनके यहां सीटों की संख्या भी बतायी गयी है.
शिक्षा निदेशालय ने कहा, ‘‘निजी स्कूलों के खिलाफ आने वाली शिकायतों से निपटने के लिए हमने एक दाखिला हेल्पलाइन और पोर्टल शुरू किया है.’’
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