वाशिंगटन:
वीजा से जुड़े एक घोटाले के पर्दाफाश के लिए कानून प्रवर्तन एजेंसियों द्वारा किये गये एक फर्जी विश्वविद्यालय संबंधी स्टिंग ऑपरेशन के तहत अनजाने में अमेरिका आ गये करीब 306 भारतीय छात्रों को चिह्नित कर लिया गया है और उनके निर्वासन की प्रक्रिया शुरू हो गयी है।
यूएसआईसीई होमलैंड सिक्योरिटी इन्वेस्टिगेशन्स के प्रवक्ता एल्विन फिलिप्स ने बताया, ‘‘भारत के 306 लोग, जो तथाकथित रूप से यूनिवर्सिटी ऑफ नार्दन न्यूजर्सी में छात्र के रूप में आये, उनकी पहचान कर ली गयी है, उनके ठिकाने का पता लगा लिया गया है और उचित प्रक्रिया के अनुरूप उन्हें देश से निकालने की आव्रजन प्रक्रिया शुरू हो गयी है।’’
स्टिंग ऑपरेशन के मामले में गिरफ्तार किये गये 21 लोगों में 10 भारतीय-अमेरिकी हैं। इसमें अमेरिकी अधिकारियों ने एक फर्जी विश्वविद्यालय बनाया ताकि वीजा घोटाले का पर्दाफाश हो सके जिसके तहत 1000 से अधिक विदेशियों को विद्यार्थी बने रहने और कामकाजी वीजा रखने की अनुमति दी गयी।
यूएसआईसीई होमलैंड सिक्योरिटी इन्वेस्टिगेशन्स के प्रवक्ता एल्विन फिलिप्स ने बताया, ‘‘भारत के 306 लोग, जो तथाकथित रूप से यूनिवर्सिटी ऑफ नार्दन न्यूजर्सी में छात्र के रूप में आये, उनकी पहचान कर ली गयी है, उनके ठिकाने का पता लगा लिया गया है और उचित प्रक्रिया के अनुरूप उन्हें देश से निकालने की आव्रजन प्रक्रिया शुरू हो गयी है।’’
स्टिंग ऑपरेशन के मामले में गिरफ्तार किये गये 21 लोगों में 10 भारतीय-अमेरिकी हैं। इसमें अमेरिकी अधिकारियों ने एक फर्जी विश्वविद्यालय बनाया ताकि वीजा घोटाले का पर्दाफाश हो सके जिसके तहत 1000 से अधिक विदेशियों को विद्यार्थी बने रहने और कामकाजी वीजा रखने की अनुमति दी गयी।
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