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Baby John Review: वरुण धवन ने एक्शन से किया इंप्रेस, बड़े बजट की एंटरटेनिंग फिल्म है बेबी जॉन

वरुण धवन की फिल्म बेबी जॉन रिलीज हो चुकी है. ये फिल्म साउथ की फिल्म थेरी का रीमेक है जिसे एटली ने डायरेक्ट किया था.

Baby John Review: वरुण धवन ने एक्शन से किया इंप्रेस, बड़े बजट की एंटरटेनिंग फिल्म है बेबी जॉन
Baby John Review
नई दिल्ली:

कलाकार - वरुण धवन, कीर्ति सुरेश, वामिका गब्बी, राजपाल यादव, शीबा चड्ढा, जारा ज्यांना, जैकी श्रॉफ, प्रकाश बेलवाड़ी और जाकिर हुसैन

स्पेशल अपीयरेंस- सान्या मल्होत्रा, सलमान खान

निर्माता - एटली, प्रिया एटली,  मुराद खेतानी, ज्योति देशपांडे 

निर्देशक - कलीस

संगीत - थमन एस

नोट - ये फिल्म थलपती विजय की फिल्म थेरी का रीमेक है जिसे एटली ने डायरेक्ट किया था.

कहानी - फिल्म की कहानी की शुरुआत जॉन ( वरुण धवन) और उसकी बेटी ( खुशी ) से होती है. जॉन एक बेकरी चलाता है और सिंगल पैरेंट है इसलिए रोज खुशी को स्कूल छोड़ने में उसे देरी होती है और इसी वजह से खुशी को अपनी टीचर तारा ( वामिका गब्बी) से डांट खानी पड़ती है. एक दिन तारा एक लड़की को कुछ गुंडों से बचाती है और पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराती है जहां खुशी भी भी तारा के साथ होती. जॉन अपनी बेटी को पुलिस थाने में देखकर परेशान हो जाता है और तारा पर नाराज होता है पर थाने का इंस्पेक्टर जॉन को पहचानने की कोशिश करता है और फिल्मकार दर्शकों को हिंट दे देता है कि जॉन का कुछ तो अतीत है और फिर शुरू होता है फ्लैशबैक जहां वरुण धवन पुलिस ऑफिसर सत्या के रूप में नजर आता है.

फ्लैश बैक

डीसीपी सत्या ( वरुण धवन ) एक ईमानदार और पॉपुलर पुलिस अफसर जिसकी वजह से से शहर में गुंडे मवालियों को खौफ है और शहर के लोगों के बीच वो उनका पसंदीदा है. दूसरी तरफ है नाना ( जैकी श्रॉफ ) जो एक बड़े पुलिस अफसर और अपने गैंग  के साथ मिलकर लड़कियों की तस्करी करता है जिसके चलते डीसीपी सत्या का टकराव होता है. यहां से शुरू हो जाती है दोनों के बीच दुश्मनी. आगे क्या होगा ये जानने के लिए फिल्म देखिए.

खामियां

1 फिल्म की कहानी में ताजगी नहीं. इस तरह की कहानी बॉलीवुड में बहुत बार बनी हैं.

2 दक्षिण में एक फिल्म मेकिंग स्टाइल है जिसमें जगह जगह पर आपको इमोशनल ड्रामा डालना ही है जिसकी वजह से एक दिशा में बढ़ती कहानी में झटके आ जाते हैं अगर इन सीन का मिक्स स्क्रिप्ट और स्क्रीनप्ले में होशियारी के साथ ना किया हो तो और ऐसा ही बेबी जॉन में होता है.

3 गाने भारतीय  सिनेमा में जरूरी हैं पर अभी भी बहुत से फिल्मकार इन्हें बिना फिल्म की स्पीड पर रोक लगाये नहीं इस्तेमाल कर पाते जैसा की बेबी जॉन में भी होता है.

4 फिल्म में कई जगह क्लिशे से फिल्मकार बच सकते थे फिर चाहे वो डायलॉग हों , सीन्स हो या कुछ सीन का इस्तेमाल, मसलन जब विलन जैकी श्रॉफ का सीन एक जगह आता है तो उससे अगला कट रावण के पुतले का होता है. ऐसा ही डायलॉग्स में होता है क्योंकि आपको पता होता है कई जगह की अगली लाइन क्या आने वाली है.

5 ये खामी उन लोगों के लिए है जिन्होंने इस फिल्म की ओरिजिनल देखी है यानी थेरी. थेरी के सामने ऐसे लोगों के लिए ये फिल्म कमजोर साबित हो सकती है. हालांकि मैंने थेरी नहीं देखी है.

6 फिल्म की एडिटिंग में झटके महसूस होते हैं वजह सेंसर की कैंची भी हो सकती है या फिर शायद एडिटर की मजबूरी कहना मुश्किल है.

खूबियां 

1 ये एक बड़े बजट के फिल्म है जिसमें एंटरटेनमेंट के साथ संदेश भी दिया गया है. फिल्म कॉमेडी, ड्रामा, एक्शन के जरिए एंटरटेनमेंट का डोज फिल्म के अलग हिस्सों में देती रहती है.

2 वरुण धवन ने साउथ इंडियन स्टाइल हीरोइज्म खूबसूरत ढंग से ओढ़ा है. मुझे वो एक्शन में कन्विंसिंग लगे. उनका स्टाइल और एक्टिंग का बैलेंस इस फिल्म में उनकी तरफ से आपको निराश नहीं करेगा फिर चाहे वो जॉन हो या डीसीपी सत्या.

3 फिल्म के कई सीन क्लिशे से बचते हुए नए तरीके से गढ़े गए हैं जो अच्छे लगते हैं मसलन क्लासरूम में गुंडों के साथ टकराव, वरुण धवन और उनकी मां बनीं शीबा चड्ढा के बीच गढ़े गए सीन्स जो कॉमेडी भी देते हैं और ताजगी भी.

4 फिल्म में छोटे छोटे किरदार हैं जो एक लाइन में ही आप पर छाप छोड़ जाते हैं और यहां तारीफ करने पड़ेगी फिल्मकार की एक्टर बड़ा हो या छोटा उन्हें इस तरह के सीन और लाइन्स दी गई हैं की वो आया राम गया राम नहीं लगते और अपनी मौजूदगी दर्ज करके जाते हैं.

5 राजपाल यादव, बहुत फिल्मों में आपने उनको देखा होगा पर इस फिल्म में शायद पहली बार उनकी पर्सनैलिटी को तोड़ कर उन्हें अलग ढंग से पेश किया गया है जहां अभिनय भी है और कॉमेडी लेकिन बेढंगी नहीं. पूरी फिल्म में राजपाल यादव ने कमाल का काम किया है और एक सीन में वो दर्शकों की तालियां और सीटियां भी ले जाएंगे.

6 कीर्ति सुरेश का काम अच्छा है, कई जगह बड़ी संजीदगी से अपनी एक्टिंग से दर्शकों पर छाप छोड़ी है. वामिका गब्बी ठीक हैं.

7 जैकी श्रॉफ भी ठीक हैं, शीबा चड्ढा का अच्छा काम है.

8 डायरेक्टर कलीस की टेकिंग अच्छी है.

9 सलमान का कैमियो आपसे ताली बजवायेगा और सान्या मल्होत्रा का कैमियो आपको हंसाएगा.

कुल मिलाकर अपनी लंबाई के बावजूद फिल्म कई जगह आपका मनोरंजन करेगी. हमारी तरफ से इसे तीन स्टार.
 

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