क्योंकि सास भी कभी बहू थी में नजर आने वाले एक्टर हितेन तेजवानी ने बताया कि उन्हें 'मानो या ना मानो—कुछ भी संभव है' में 14,000 साल पुराने अमर व्यक्ति की अनूठी भूमिका निभाने के लिए किस बात ने आकर्षित किया. आईएएनएस को दिए एक इंटरव्यू में 'कुटुम्ब' एक्टर ने बताया कि इस प्रोजेक्ट के दिलचस्प कॉन्सेप्ट और एक असाधारण किरदार को निभाने के अवसर ने उन्हें अपने कंफर्ट जोन से बाहर निकलने और कुछ अनोखा करने के लिए प्रेरित किया. अपने किरदार के बारे में बात करते हुए, हितेन ने कहा, "एक एक्टर होने का आनंद अलग-अलग भूमिकाएं निभाने में है. चिरंजीवी एक ऐसा किरदार है जो मैंने पहले कभी नहीं निभाया. वह चौदह हजार साल से जिंदा है, इसलिए एक अच्छा संतुलन है - क्या वह प्राचीन दुनिया से है या वर्तमान में फिट बैठता है? शुक्र है कि पटकथा बहुत खूबसूरती से लिखी गई थी, और मुझे इस किरदार को जीवंत बनाने के लिए ज़रूरी हर चीज मिल गई."
आगे उन्होंने कहा, "मैंने उसे अपना अंदाज दिया है - एक खास लहजा और व्यक्तित्व. वह इंसान है, ऊपर से एक आम इंसान, लेकिन फिर भी अपने तरीके से असाधारण है. और मुझे लगता है कि यही सादगी दर्शकों से बेहतर जुड़ती है."
जब उनसे पूछा गया कि उन्होंने इस फिल्म के लिए हां क्यों कहा, तो हितेन तेजवानी ने बताया, "किसी भी एक्टर के लिए सबसे बड़ी प्रेरणा कुछ अलग करना होता है. यह फिल्म, जाहिर है, पहले भी बन चुकी है. इसका नाम है "द मैन फ्रॉम अर्थ", जिसे एक कल्ट क्लासिक माना जाता है." "यह इसका आधिकारिक रीमेक है. विषय अपने आप में दिलचस्प है. एक ऐसा इंसान जो चौदह हजार सालों से ज़िंदा है. कैसे? क्यों? आगे क्या होगा? यह एक चुनौती है, और मुझे इसमें बहुत मज़ा आया. मुझे लगा, चलो इसे पूरी तरह से कर लेते हैं. नियमित, अनुमानित काम करते रहना रोमांचक नहीं है—इसलिए मैंने कुछ अनोखा करने का फैसला किया."
योगेश पगारे द्वारा निर्देशित, "द मैन फ्रॉम अर्थ" से प्रेरित यह अपकमिंग विज्ञान-कथा ड्रामा, 7 नवंबर, 2025 को साइफाईइंडियनफिल्म्स यूट्यूब चैनल पर प्रीमियर होगा.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं