छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में रविवार को कांग्रेस के 'लोकतंत्र बचाओ कार्यक्रम' के दौरान मंच गिर गया. इस हादसे में कुछ नेताओं को मामूली चोटें लगी हैं. कांग्रेस की मशाल रैली खत्म होने के बाद जब कांग्रेस के नेता आम लोगों को संबोधित कर रहे थे तभी यह हादसा हुआ. इस घटना का एक वीडियो सामने आया है. इसमें दिखाई दे रहा है कि नेताओं से भरा मंच अचानक धराशायी हो गया और नेता गण नीचे गिर गए.
मंच पर कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम, सहप्रभारी चन्दन यादव, शैलेश पांडेय, जिला अध्यक्ष विजय केशरवानी, विजय पांडेय समेत कई बड़े नेता हादसे के वक्त मौजूद थे. हादसे में कांग्रेस के कुछ नेताओं को मामूली चोटें आई हैं.
पहले भी कई बार हुईं मंच गिरने की घटनाएं
सार्वजनिक राजनीतिक कार्यक्रमों मंच गिरने की घटनाएं पहले भी कई बार हो चुकी हैं. वर्ष 2020 में बिहार के चुनाव के दौरान 16 अक्टूबर को नेताओं को माला पहनाने की होड़ मची थी. इस दौरान जनता दल यूनाईटेड के नेता चंद्रिका राय का मंच गिर गया था. इस हादसे में कई लोग जख्मी हो गए थे. बिहार के सोनपुर में जेडीयू के नेता और तेजप्रताप यादव के ससुर चंद्रिका राय का मंच चुनावी सभा के दौरान गिर गया था. घटना के दौरान चंद्रिका राय भी मंच पर ही थे, और वे भी नीचे आ गिरे थे. मंच पर मौजूद नेताओं को माला पहनाने के लिए लोगों में होड़ मच गई थी. मंच इतने लोगों का भार नहीं सह सका और भर-भराकर गिर पड़ा था.
इससे पहले 2019 में मध्यप्रदेश में मंच गिरने की घटना में राज्य के पूर्व गृह मंत्री समेत बीजेपी के कई नेता गिर गए थे. मध्यप्रदेश के सागर जिले के खुरई कस्बे में 23 सितंबर 2019 को यह घटना हुई थी. प्रदेश के पूर्व गृह मंत्री भूपेंद्र सिंह अचानक मंच टूटने से गिर पड़े थे. भूपेंद्र सिंह के साथ सांसद राजबहादुर सिंह सहित एक विधायक भी गिर गए थे. बीजेपी के 'हल्ला बोल' धरना कार्यक्रम के दौरान यह घटना हुई थी. हालांकि इस हादसे में कोई गंभीर रूप से घायल नहीं हुआ था.
उत्तर प्रदेश के इलाहाबाद में 21 फरवरी 2021 को इसी तरह की घटना हुई थी. तब यूपी के चुनावों में चौथे चरण के प्रचार के आखिरी दिन इलाहाबाद में सपा-कांग्रेस गठबंधन के तहत अखिलेश यादव और राहुल गांधी रोड शो के बाद मंच साझा करने वाले थे. मंच पूरी तरह तैयार था लेकिन अचानक वह भरभराकर गिर गया था. गनीमत यह रही कि दोनों नेता उस वक्त मंच पर मौजूद नहीं थे.