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This Article is From May 07, 2020

Lockdown के बीच स्ट्रीट फूड वेंडर्स हुए क्रिएटिव, खाना बेचने के लिए निकाली अनोखी तरकीबें

कोरोना के चलते क्षेत्र में लॉकडाउन घोषित कर दिया गया, जिस वजह से सभी खाने की दुकानों को बंद करना पड़ा. साथ ही यहां आने वाले कस्टमर्स भी अपने घरों में बंद हैं. ऐसे में खाने का कारोबार करने वाले ये लोग अपना जीवन चलाने के लिए नए-नए तरीके खोज रहे हैं.

Lockdown के बीच स्ट्रीट फूड वेंडर्स हुए क्रिएटिव, खाना बेचने के लिए निकाली अनोखी तरकीबें
स्ट्रीट फूड शेफ अपना खाना बेचने के लिए अब अलग-अलग तरीके अपना रहे हैं.
नई दिल्ली:

फेसबुक ग्रुप्स से लेकर हाइपर-लोकल डिलीवरी सर्विसेज़ तक, दक्षिण-पूर्व एशिया (South East Asia) के स्ट्रीट फूड शेफ़ अपना माल बेचने के लिए क्रिएटिव तरीके से खाना बना रहे हैं क्योंकि कोरोनावायरस (Coronavirus) महामारी के चलते वो अपना खर्चा निकालने के लिए स्ट्रगल कर रहे हैं. आमतौर पर इन क्षेत्रों को सड़क किनारे बेचे जाने वाले टेस्टी स्ट्रीट फूड के लिए जाना जाता है. यहां लोग सड़क किनारे टेबल और कुर्सी पर बैठ कर मैंगो स्टिकी राइस से लेकर नारियल द्वारा बनाई गई स्वादिष्ट चीजों का आनंद लिया करते थे. 

हालांकि, कोरोनावायरस के चलते क्षेत्र में लॉकडाउन घोषित कर दिया गया, जिस वजह से सभी खाने की दुकानों को बंद करना पड़ा. साथ ही यहां आने वाले कस्टमर्स भी अपने घरों में बंद हैं. ऐसे में खाने का कारोबार करने वाले ये लोग अपना जीवन चलाने के लिए नए-नए तरीके खोज रहे हैं. 

कुछ इलाकों में लॉकडाउन में छूट दे दी गई है लेकिन इसके बाद भी लोगों को अपना बिजनेस सामान्य करने में वक्त लगेगा क्योंकि अधिक से अधिक लोग सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रहे हैं. 

इस बारे में बात करते हुए सिंगापुर के एक शेफ ने कहा, "यहां खुली हवा के फूड कोर्ट के कई स्टॉल खाली हैं क्योंकि बाहर खाने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है. इस वजह से शेफ ने अब एक फेसबुक ग्रुप बनाया है जिस पर वो टेक-सेवी विक्रेताओं की मदद विज्ञापन दे रहा है." 

42 वर्षीय Melvin Chew अपने स्टॉल पर राइस नूडल्स और डक ब्रेस्‍ट बेचा करता था. मेल्विन ने कहा कि उसने जो ग्रुप बनाया है उसमें अब 250,000 लोग हैं. मेल्विन ने कहा, ''यहां बहुत से लोग हैं जो हमारे पेज को सपोर्ट कर रहे हैं और फेसबुक पर शेयर कर रहे हैं. यह सही में सिंगापुर हॉकर्स के खाने को पसंद करने वाले लोगों के बारे में बताता है.'' 

वहीं थाइलैंड की राजधानी बैंकॉक में एक छोटे से हॉस्टल ने स्ट्रीट फूड सेलर्स की मदद करने के लिए खुद को केंद्र बना लिया है. इस हॉस्टल ने डिलीवरी सर्विस लॉन्च की है जो वेंडर्स को कस्टमर से एक मैसेजिंग एप के जरिए जोड़ेगी और इसके बदले में वो 15 प्रतिशत कमिशन ले रहे हैं. 

कोई भी कस्टमर यदि कोई ऑर्डर प्लेस करता है तो वेंडर्स खाने को हॉस्टल तक पहुंचाते हैं और उनका स्टाफ मोटरबाइक के जरिए कूरियर डिलीवर करता है. वहीं म्यांमार में एक क्राउंड फंडिंग कैंपेन शुरू किया गया है ताकि स्ट्रीट फूड सेलर्स के लिए पैसा इक्ट्ठा किया जा सके. कैंपेन को शुरू करने वाले एमिलि रोएल ने कहा, ''हम यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि इस मुश्किल वक्त में स्ट्रीट वेंडर्स के पास घर पर रहने की च्‍वॉइस हो.''

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