69000 Shikshak Bharti : बीते लगभग डेढ़ साल से उत्तर प्रदेश में 69000 शिक्षकों की भर्ती के मामले में आखिरकार बुधवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ ने अपना फैसला सुना दिया है. कोर्ट का फैसला यूपी सरकार के पक्ष में गया है. जिसके मुताबिक सामान्य वर्ग के अभ्यर्थियों को 150 में 65 फीसदी और आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों के लिए 60 फीसदी अंक लाने होंगे. यूपी सरकार ने अंकों का निर्धारण परीक्षा के बाद किया था और यही विवादा का कारण बना था. इस फैसले का विरोध कर रहे अभ्यर्थियों का कहना था कि सरकार को अंकों का निर्धारण परीक्षा के पहले करना चाहिए था. जबकि सरकार का तर्क का था कि वह शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर कोई समझौता नहीं करना चाहती है. इस परीक्षा में वही लोग चयनित होंगे जो योग्य होंगे. इसके बाद प्राइमरी लेवल असिस्टेंट टीचर के लिए भर्ती की प्रक्रिया का मामला कोर्ट में पहुंच गया.
अब कितने अंक होने चाहिए
तय किए गए कट ऑफ के मुताबिक सामान्य वर्ग को 65 फीसदी और आरक्षित वर्ग को 60 फीसदी अंक लाने हैं. 150 नंबर की परीक्षा में इस हिसाब से अब सामान्य वर्ग को 97 नंबर और आरक्षित वर्ग को 90 अंक लाने होंगे.
पिछली परीक्षा में कितने फीसदी लाने थे अंक
इससे पहली हुई परीक्षा में सामान्य वर्ग के लिए 45 और आरक्षित वर्ग के लिए 40 फीसदी कट ऑफ तय की गई थी.
तीन महीने में पूरी करनी है भर्ती प्रक्रिया
हाइकोर्ट ने आदेश दिया है कि अब भर्ती प्रक्रिया को 3 महीने में पूरा कर रिपोर्ट सौंपी जाए.
सीएम योगी आदित्यनाथ ने दी बधाई
सीएम योगी आदित्यनाथ के कार्यालय से ट्विटर पर जारी बयान के मुताबिक, सीएम योगी आदित्यनाथ ने बेसिक शिक्षा के 69,000 शिक्षकों की भर्ती के मामले में मा. उच्च न्यायालय के निर्णय का स्वागत किया है. उन्होंने सभी सफल अभ्यर्थियों को आने वाले समय में प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था में योगदान देने हेतु अपनी शुभकामनाएं देते हुए उनका अभिनन्दन किया है.
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