मुझे दस्तावेज इकट्ठा करने में 10 दिन लगे तो आम लोगों का क्या... वोटर लिस्ट रिवीजन के विरोध में JDU सांसद

गिरिधारी यादव ने कहा कि एसआईआर अभियान ने लोगों खासकर गरीबों को परेशान कर दिया है और ऐसे लगता है कि मानो वे किसी चिकित्सीय आपात स्थिति में हों. लोग अभी धान की खेती में व्यस्त हैं. अब उन्हें सभी प्रकार के दस्तावेज ढूंढ़ने होंगे और अधिकारियों के पास जमा करने होंगे.

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  • जेडीयू के सांसद गिरिधारी यादव ने बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण अभियान का विरोध किया है.
  • उन्होंने कहा कि एसआईआर प्रक्रिया के लिए चुनाव आयोग को कम से कम छह महीने का समय देना चाहिए.
  • गिरिधारी यादव ने बताया कि दस्तावेज़ इकट्ठा करने में उन्हें 10 दिन लगे, यह प्रक्रिया गरीबों के लिए मुश्किल है.
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नई दिल्ली:

NDA के सहयोगी और जेडीयू के सांसद गिरिधारी यादव ने बिहार में मतदाता सूची को लेकर जारी विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) अभियान का बुधवार को विरोध किया और कहा कि इससे पिछले साल हुए लोकसभा चुनाव के नतीजों पर सवाल उठेंगे. उन्होंने कहा कि निर्वाचन आयोग को एसआईआर को कम से कम छह महीने तक करना चाहिए. ताकि पात्र मतदाताओं को आवश्यक प्रमाण दाखिल करने के लिए पर्याप्त समय मिल सके और उन लोगों का नाम हटाया जा सके, जिनके पास मतदान का अधिकार नहीं है.

गिरिधारी यादव ने कहा कि एसआईआर अभियान ने लोगों खासकर गरीबों को परेशान कर दिया है और ऐसे लगता है कि मानो वे किसी चिकित्सीय आपात स्थिति में हों. लोग अभी धान की खेती में व्यस्त हैं. अब उन्हें सभी प्रकार के दस्तावेज ढूंढ़ने होंगे और अधिकारियों के पास जमा करने होंगे. उन्हें बहुत परेशानी हो रही है. चुनाव आयोग को एसआईआर के लिए कम से कम छह महीने का समय देना चाहिए और यह प्रक्रिया गर्मियों में करानी चाहिए.

उन्होंने सवाल किया कि अगर मतदाता सूची लोकसभा चुनाव के लिए सही थी, तो कुछ महीने बाद होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए यह गलत कैसे हो सकती है? बांका से लोकसभा सदस्य ने कहा, ‘‘क्या मुझे गलत मतदाता सूची के आधार पर चुना गया है? इससे पूरी चुनाव प्रक्रिया पर सवाल उठेंगे.''

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दस्तावेज इकट्ठा करने में 10-11 दिन लगे
गिरिधारी यादव ने कहा कि इस जल्दबाजी वाली प्रक्रिया के कारण बिहार से बाहर रहने वाले लाखों प्रवासी अपने मताधिकार से वंचित हो सकते हैं. एसआईआर को अपनी पार्टी के समर्थन के बारे में पूछे जाने पर, उन्होंने कहा कि वह एक लोकसभा सदस्य के रूप में अपनी स्वतंत्र राय व्यक्त कर रहे हैं. गिरिधारी यादव ने अपना उदाहरण देते हुए कहा कि उन्हें दस्तावेज इकट्ठा करने में 10-11 दिन लगे. मेरा बेटा अमेरिका में रहता है. मुझे नहीं पता कि मेरा बेटा अब बिहार में मतदाता होगा या नहीं.

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दूसरी तरफ, भारतीय जनता पार्टी की सहयोगी पार्टी जेडीयू ने एसआईआर का बचाव करते हुए कहा है कि इसका उद्देश्य योग्य मतदाताओं की पहचान करना है. ताकि संदिग्ध घुसपैठियों सहित अयोग्य मतदाता मतदान न कर सकें.

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गिरिधारी यादव के सवाल पर रेल मंत्री ने दिया जवाब
गिरिधारी यादव ने बुधवार को लोकसभा में प्रश्नकाल के दौरान दावा किया कि पिछले 11 वर्षों में बिहार को एक भी नयी ट्रेन नहीं मिली, जबकि केंद्र में राजग की सरकार लाने में इस प्रदेश की बड़ी भूमिका है. इस पर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि मोदी सरकार ने बिहार के लिए पांच नयी ‘अमृत भारत' रेलगाड़ियां चलाई हैं.

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