विज्ञापन
This Article is From Jun 14, 2016

सिर्फ इतने प्रतिशत भारतीय इंजीनियर ही मूल इंजीनियरिंग रोल के लिए हैं फिट

सिर्फ इतने प्रतिशत भारतीय इंजीनियर ही मूल इंजीनियरिंग रोल के लिए हैं फिट
नई दिल्ली: देश के इंजीनियरिंग क्षेत्र में रोजगार पाने की योग्यता बढ़ाने के लिए उल्लेखनीय प्रयास किए जाने की जरूरत है। एस्पायरिंग माइंड्स की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि आठ प्रतिशत से भी कम इंजीनियर मूल इंजीनियरिंग भूमिका निभाने के लिए रोजगार पाने की योग्यता रखते हैं।

इस साल पहली बार रोजगार योग्यता रिपोर्ट में इंजीनियरों के लिए उपलब्ध मूल आईटी और साफ्टवेयर क्षेत्रों के अलावा विशेषीकृत तथा नए करियर में रोजगार पाने की क्षमता का आकलन किया गया है। राष्ट्रीय स्तर पर किया गया विश्लेषण 1,50,000 इंजीनियरों पर किए आकलन पर आधारित है। इसमें पता चलता है कि इंजीनियरों के कौशल में भारी अंतर है, जो किसी बड़े उद्योग में काम करने के लिए जरूरी है।

एस्पायरिंग माइंड्स के मुख्य प्रौद्योगिकी अधिकारी (सीटीओ) वरण अग्रवाल ने कहा, मूल इंजीनियरिंग क्षेत्र में रोजगार पाने की क्षमता को लेकर कई समस्याएं हैं। हमें छात्रों को इन नौकरियों के प्रति जागरूक करने की जरूरत है। हर कोई सिर्फ आईटी पर ध्यान देता है। हम चाहते हैं कि छात्र डिजाइन करें और निर्माण करें। हमें बेसिक्स पर ध्यान देने की जरूरत है। मसलन बेसिक इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, बेसिक कॉन्सेप्ट आफ मेकेनिक्स।
 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com