एशियाई बाजारों में गिरावट के बीच घरेलू शेयर बाजार में गुरुवार को एक बार फिर से जोरदार गिरावट दर्ज की गई है. आज ओपनिंग में सेंसेक्स 1,000 अंकों की गिरावट दर्ज की गई. निफ्टी भी 17,000 के लेवल से नीचे आ गया. यूएस फेडरल रिजर्व बैंक की ओर से इंटरेस्ट रेट जल्दी बढ़ाने के संकेत देने के बाद से एशियाई बाजार पिछले 14 महीनों की सबसे बड़ी गिरावट देख रहे हैं. बता दें कि आज ओपनिंग के बाद सुबह 9:26 बजे BSE सेंसेक्स 1,011 अंक या 1.75 फीसदी गिरकर 56,847 के लेवल पर पहुंच गया. वहीं, निफ्टी इस दौरान 180 अंक या 1.62 गिरकर 16,998 के लेवल पर आ गया.
कारोबारियों के मुताबिक विदेशी निवेशकों की बिकवाली और अमेरिकी फेडरल रिजर्व के ब्याज दरें जल्द बढ़ाने के संकेत से भी घरेलू शेयर बाजार की धारणा प्रभावित हुई है. दरअसल, अमेरिका के केंद्रीय बैंक ने बुधवार को संकेत दिए थे कि मुद्रास्फीति से निपटने के लिए वह मार्च में ब्याज दरें बढ़ा सकता है.
निफ्टी पर टेक महिंद्रा, नेस्ले, विप्रो में सबसे ज्यादा गिरावट दर्ज हो रही थी, वहीं, बस ONGC के शेयर हरे निशान में थे. बीएसई सेंसेक्स पर भी यही हाल था. 30 शेयरों पर आधारित इंडेक्स पर एनटीपीसी को छोड़कर बाकी सभी 29 शेयर नुकसान में चल रहे थे. सबसे ज्यादा गिरावट विप्रो, टेक महिंद्रा और एचडीएफसी बैंक के शेयरों में आई थी.
बता दें कि बुधवार को बाजार गणतंत्र दिवस पर बंद था. वहीं, मंगलवार को शेयर बाजारों में गिरावट दर्ज हुई थी लेकिन क्लोजिंग में उसके पिछले पांच कारोबारी सत्रों से जारी गिरावट पर विराम लगा और बीएसई सेंसेक्स 367 अंक उछलकर बंद हुआ. वहीं, निफ्टी 128.85 अंक यानी 0.75 प्रतिशत लाभ के साथ 17,277.95 अंक पर बंद हुआ था.
अन्य एशियाई बाजारों में हांगकांग, सियोल, शंघाई और तोक्यो में शेयर मध्य सत्र के सौदों में नुकसान के साथ कारोबार कर रहे थे. इस बीच अंतरराष्ट्रीय तेल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड 0.93 प्रतिशत बढ़कर 89.12 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर आ गया.
शेयर बाजार के अस्थाई आंकड़ों के मुताबिक विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने मंगलवार को सकल आधार पर 7,094.48 करोड़ रुपये के शेयर बेचे.