नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसईएल) के 5,600 करोड़ रुपये के घोटाले की जांच कर रही मुंबई पुलिस ने भुगतान में चूक करने वाले सभी 26 व्यक्तियों एवं प्रतिष्ठिानों की संपत्ति को कुर्क करने का काम पूरा कर लिया है। डिफाल्टरों, निदेशकों व अन्य लोगों की कुर्क संपत्तियां 3,000 करोड़ रुपये से अधिक की हैं।
आर्थिक अपराध शाखा के एक अधिकारी ने कहा, 'हमने डिफाल्टरों, निदेशकों व एनएसईएल के वरिष्ठ अधिकारियों की 2,679.4 करोड़ रुपये की संपत्तियां कुर्क की हैं। हमने सभी डिफाल्टरों की संपत्ति कुर्क करने का काम पूरा कर लिया है। अभी तक 325 बैंक खाते फ्रीज किए गए हैं, जिनमें 172.15 करोड़ रुपये की राशि जमा है। इसके अलावा एफआईआर में जिन लोगों का नाम आया है उनका शेयर और अन्य निवेश भी कुर्क किया गया है। यह राशि 252.6 करोड़ रपये बैठती है।'
अधिकारी ने कहा कि फिलहाल हम रिण लेने वाले डिफाल्टरों के बही खातों की जांच कर रहे हैं। इसके बाद हम ब्रोकरों के बही खातों की जांच करेंगे। इस बारे में आर्थिक अपराध शाखा ने 30 सितंबर को निदेशकों जिग्नेश शाह, जोसफ मैसी तथा अन्य के खिलाफ प्राथमिकी दायर की थी। इन लोगों पर धोखाधड़ी, जालसाजी, भरोसे को तोड़ने तथा आपराधिक साजिश का मामला दायर किया गया है।
आर्थिक अपराध शाखा ने इस मामले में अभी तक पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। इनमें एनएसईएल के अंजनी सिन्हा, अमित मुखर्जी व जय बाहुखुंडी तथा एनके प्रोटींस के प्रबंध निदेशक नीलेश पटेल और लोटस रिफाइनरीज के चेयरमैन अरण शर्मा शामिल हैं। ये सभी फिलहाल न्यायिक हिरासत में आर्थर रोड जेल में हैं।