केन्द्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीईसी) ने कहा कि वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) को 2016 में किसी भी समय लागू किया जा सकता है। जरूरी नहीं है कि इसे वित्त वर्ष की शुरुआत में ही लागू किया जाए।
सीआईआई ने सीबीईसी के सदस्य सचिव सेवा कर वीएस कृष्णन के हवाले से कहा है कि 1 अप्रैल, 2016 की समयसीमा से चूकने का मतलब 1 अप्रैल, 2017 नहीं होगा। विधेयक पारित होने के बाद जीएसटी वर्ष के दौरान किसी भी समय अमल में लाया जा सकता है।
कृष्णन ने आश्वासन दिया कि इसकी राजस्व नफा-नुकसान रहित तटस्थ दर 20 प्रतिशत से अधिक नहीं होगी। उन्होंने कहा कि एक समिति पहले ही जीएसटी के कर ढांचे पर काम कर रही है जो जल्द अपनी रिपोर्ट सौंपेगी।