
नब्बे के दौर में बॉलीवुड में एक बेहद खूबसूरत और कमसिन हीरोइन आई जो आते ही सिनेमा के परदे पर छा गई. लेकिन महज 19 साल की उम्र में एक हादसे में इस शानदार एक्ट्रेस ने दुनिया को अलविदा कह दिया. जी हां बात हो रही है बॉलीवुड एक्ट्रेस दिव्या भारती की. कुछ फिल्में करने के बाद 1993 में बालकनी से गिरने के कारण दिव्या भारती की मौत हो गई और पूरी दुनिया इस हादसे से हैरान हो गई थी. कहते हैं कि दिव्या को बचपन से ही एक्टिंग का शौक था. वो अपनी मां से फिल्मों को लेकर बातचीत किया करती थी. ऐसी ही एक बातचीत का किस्सा उनकी मौत के बाद उनकी मां मीता भारती ने साझा किया.
जब दिव्या ने पूछा क्या डेथ सीन के लिए मरना पड़ेगा
मीता भारती ने कहा कि बचपन में वो काफी खेल कूद करती थी. दिव्या फिल्मों को लेकर अपनी मां से बातचीत भी करती थी. वो हंसती खेलती हुई मां से पूछती थी कि उन्हें फिल्मों में हंसने और रोने के रोल करने होंगे. लेकिन क्या किसी फिल्म में अगर मरने का रोल हुआ तो क्या उन्हें मरना भी पड़ेगा. ये बात सुनकर दिव्या की मां हैरान हो गई थी. उन्होंने दिव्या को समझाया कि फिल्मों के सीन नकली होते हैं, ऐसे में डेथ सीन के लिए मरना नहीं पड़ता. हालांकि ये दिव्या की बचपन की बात थी जो आई गई हो गई, लेकिन कौन जानता था कि दिव्या भारती को बेहद हम उम्र में दुनिया छोड़कर जाना पड़ेगा.
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बचपन में गुड़िया समझ बैठे थे लोग
दिव्या बचपन में इतनी प्यारी थी कि एक बार एक शख्स ने उन्हें गुड़िया समझ लिया. एक बार छोटी सी दिव्या मां के साथ कहीं जा रही थी. मां ने उन्हें बोनट पर बिठा दिया और कार से सामान निकालने लगी. वहीं से गुजर रहे एक शख्स ने कार के बोनट पर बैठी दिव्या को गुड़िया समझ लिया. उसने दिव्या की मां से पूछा कि ये गुड़िया कहां से ली.इस सवाल पर दिव्या की मां मीता ने हंसते हुए कहा कि ये गुड़िया नहीं उनकी बेटी है.दिव्या पढ़ाई में कमजोर रही लेकिन एक्टिंग के मैदान में आने के बाद उन्होंने हिंदी ही नहीं साउथ की फिल्मों में भी काम किया और अपनी एक्टिंग का लोहा मनवाया. दिव्या ने बॉलीवुड में विश्वात्मा, शोला और शबनम, दीवाना, दिल आशना है, बलवान और गीत जैसी शानदार फिल्में दीं.
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