प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इन दिनों पश्चिम एशिया और अफ्रीका के अहम दौरे पर हैं. इस यात्रा के पहले पड़ाव पर वे जॉर्डन पहुंचे, जहां उनका भव्य और शाही स्वागत किया गया. जॉर्डन के शासक किंग अब्दुल्ला द्वितीय ने जिस आत्मीयता और गरिमा के साथ पीएम मोदी का स्वागत किया, उसने लोगों का ध्यान खींचा. इसके बाद सोशल मीडिया पर एक ही सवाल गूंजने लगा, कौन हैं किंग अब्दुल्ला द्वितीय, जिनका संबंध सीधे पैगंबर मोहम्मद से बताया जाता है?
पैगंबर मोहम्मद के वंशज हैं किंग अब्दुल्ला द्वितीय
किंग अब्दुल्ला द्वितीय जॉर्डन के हाशमी शाही परिवार से आते हैं. हाशमी वंश को इस्लामी इतिहास में विशेष स्थान प्राप्त है. यह वंश पैगंबर मोहम्मद के परदादा हाशिम बिन अब्द मुनाफ से जुड़ा है. हाशमी परिवार पैगंबर मोहम्मद की बेटी फातिमा और उनके पति हज़रत अली के जरिए उनके वंशज माने जाते हैं. इस कारण किंग अब्दुल्ला द्वितीय को पैगंबर मोहम्मद का 41वां प्रत्यक्ष वंशज माना जाता है.
मक्का से जॉर्डन तक शाही सफर
हाशमी परिवार ने सदियों तक सऊदी अरब के हिजाज़ क्षेत्र और मक्का पर शासन किया. वर्ष 1201 से 1925 तक इस परिवार का मक्का पर प्रभाव रहा. साल 1916 में ग्रेट अरब विद्रोह के दौरान किंग अब्दुल्ला द्वितीय के परदादा शरीफ हुसैन बिन अली ने उस्मानी शासन के खिलाफ बगावत का नेतृत्व किया. इसी संघर्ष के बाद आधुनिक अरब राज्यों की नींव पड़ी.
जॉर्डन की स्थापना और सत्ता की विरासत
साल 1921 में ट्रांसजॉर्डन अमीरात की स्थापना हुई और 1946 में यह स्वतंत्र होकर हाशमी किंगडम ऑफ जॉर्डन बना. देश के पहले शासक बने किंग अब्दुल्ला प्रथम, जिन्होंने आधुनिक जॉर्डन की राजनीतिक और संवैधानिक नींव रखी. 1951 में उनकी हत्या के बाद सत्ता उनके बेटे किंग तलाल और फिर किंग हुसैन के पास आई.
1999 में बने जॉर्डन के राजा
किंग अब्दुल्ला द्वितीय वर्ष 1999 में अपने पिता किंग हुसैन के निधन के बाद जॉर्डन के सिंहासन पर बैठे. तब से वे लगातार देश का नेतृत्व कर रहे हैं और पश्चिम एशिया के सबसे प्रभावशाली नेताओं में गिने जाते हैं.
कितनी है किंग अब्दुल्ला द्वितीय की संपत्ति
वर्ष 2025 के अनुमान के अनुसार, किंग अब्दुल्ला द्वितीय की कुल संपत्ति करीब 6,200 करोड़ रुपये बताई जाती है. उनकी आय का बड़ा हिस्सा विदेशी रियल एस्टेट, दीर्घकालिक निवेश और विकास परियोजनाओं से जुड़ा है. साल 2021 में सामने आए दस्तावेज़ों के अनुसार, किंग अब्दुल्ला द्वितीय के पास अमेरिका और ब्रिटेन में कई महंगी संपत्तियां हैं. इनमें कैलिफोर्निया के मालिबू इलाके में खरीदी गई एक बेहद महंगी कोठी, वॉशिंगटन डीसी में अपार्टमेंट और लंदन के पॉश इलाकों में स्थित आलीशान मकान शामिल हैं. इनमें से कई संपत्तियां विदेशी कंपनियों के ज़रिए खरीदी गई थीं, जिससे यह मामला अंतरराष्ट्रीय चर्चा में आया.
रेड सी प्रोजेक्ट से जुड़ा शाही परिवार
जॉर्डन का शाही परिवार करीब 12,000 करोड़ रुपये की रेड सी पर्यटन परियोजना से भी जुड़ा ह. यह परियोजना देश की अर्थव्यवस्था और पर्यटन को नई दिशा देने के लिए अहम मानी जाती है.
पीएम मोदी का जॉर्डन दौरा क्यों है खास?
प्रधानमंत्री मोदी का यह दौरा भारत और जॉर्डन के ऐतिहासिक रिश्तों को और मज़बूत करने की दिशा में अहम माना जा रहा है. एक तरफ पैगंबर मोहम्मद के वंशज राजा से मुलाकात, तो दूसरी तरफ रणनीतिक सहयोग, यह यात्रा राजनीतिक और सांस्कृतिक दोनों दृष्टि से बेहद महत्वपूर्ण है.
किंग अब्दुल्ला द्वितीय सिर्फ एक राजा नहीं, बल्कि हज़ारों साल पुरानी इस्लामी विरासत, आधुनिक राजनीति और वैश्विक प्रभाव का संगम हैं. पीएम मोदी का उनसे मिलना न केवल कूटनीतिक, बल्कि ऐतिहासिक रूप से भी एक खास क्षण है.
यह भी पढ़ें: सुबह उठते ही बादलों के बीच पहुंची महिला! बाहर निकलते ही दिखा ऐसा नज़ारा, गुरुग्राम का ये Video चौंका देगा
इंसानियत अभी जिंदा है... 2025 के वो 5 Viral वीडियो, जिसे देख आप भी यही कहेंगे














