कर्नाटक की कांग्रेस सरकार (Congress Government) ने प्राइवेट सेक्टर (Private Sector) की 'सी और डी' ग्रेड की नौकरियों में स्थानीय लोगों को 100 फीसदी आरक्षण देने का फैसला किया.कैबिनेट में इसके लिए प्रस्ताव भी पास किया.हालांकि सरकार ने बाद में इससे पलटी मार ली.कर्नाटक के श्रम मंत्री के मुताबिक स्थानीय लोगों को प्राइवेट नौकरियों में 50 फीसदी और 70 फीसदी ही आरक्षण दिया जाएगा. कर्नाटक ऐसा करने वाला पहला राज्य नहीं है.स्थानीय लोगों को आरक्षण देने वाला पहला राज्य कर्नाटक का पड़ोसी आंध्र प्रदेश था.इसके अलावा महाराष्ट्र, झारखंड, हरियाणा और कुछ दूसरे राज्य भी इस तरह की कोशिशें कर चुके हैं. आइए जानते हैं कि निजी नौकरियों में स्थानीय लोगों के पीछे राजनीति कितनी है और यह धरातल पर कितना उतरता है.