पाकिस्तान सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर और भारत के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल.
India-Pakistan relations: पाकिस्तान सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर के बयान पर भारत ने करारा जवाब दिया है. पाकिस्तान सेना प्रमुख असीम मुनीर ने हाल ही में कश्मीर को 'पाकिस्तान के गले की नस' बताया था. इस पर भारत सरकार ने गुरुवार को दो-टूक जवाब देते हुए साफ कहा कि कश्मीर से पाकिस्तान का एक मात्र संबंध अवैध कब्जा है. जिसे उसे जल्द खाली करना है. दरअसल भारत ने पाकिस्तानी सेना प्रमुख की उस टिप्पणी को खारिज कर दिया है जिसमें उन्होंने दावा किया था कि कश्मीर इस्लामाबाद की "गले की नस" है.
विदेश मंत्रालय (MEA) ने कड़े शब्दों में बयान जारी कर संवाददाताओं से कहा कि पाकिस्तान का "कश्मीर के साथ एकमात्र संबंध" अवैध रूप से कब्जाए गए क्षेत्र को खाली करना है.
कश्मीर से पाकिस्तान से एकमात्र संबंध अवैध कब्जे काः भारत
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, "कोई विदेशी चीज गले की नस में कैसे अटक सकती है? यह भारत का केंद्र शासित प्रदेश है. पाकिस्तान के साथ इसका एकमात्र संबंध उस देश द्वारा अवैध रूप से कब्जाए गए क्षेत्रों को खाली करना है." उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान चाहे जितनी कोशिश कर ले, वैश्विक आतंकवाद के केंद्र के रूप में उसकी छवि कम नहीं होगी.
जनरल मुशीर को कश्मीर को पाकिस्तान के 'गले की नस' बताया था
मालूम हो कि इसी सप्ताह इस्लामाबाद में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुये जनरल मुनीर ने कश्मीर को पाकिस्तान के ‘‘गले की नस'' बताया था और कहा था कि कोई भी कश्मीर को उनके देश से अलग नहीं कर पाएगा. जनरल मुनीर के बयान पर अब भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने दो-टूक जवाब दिया है.
विदेशी चीज गले में कैसे अटक सकती हैः रणधीर जायसवाल
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, ‘‘कोई विदेशी चीज गले में कैसे अटक सकती है? यह भारत का एक केंद्र शासित प्रदेश है. पाकिस्तान के साथ इसका एकमात्र संबंध उस देश द्वारा अवैध रूप से कब्जाए गए क्षेत्रों को खाली कराना है.'' साथ ही प्रवक्ता ने वर्ष 2008 में 26 नवंबर को हुए आतंकवादी हमले के आरोपी तहव्वुर राणा से अपना पल्ला झाड़ने के पाकिस्तान के प्रयासों पर कहा, ‘‘पाकिस्तान लाख कोशिश कर ले, लेकिन वैश्विक आतंकवाद के केंद्र के रूप में उसकी प्रतिष्ठा कम नहीं होगी.''
मुंबई हमलों के अपराधियों को बचा रहा पाकिस्तान
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने आगे कहा, ‘‘राणा का प्रत्यर्पण पाकिस्तान के लिए एक चेतावनी है कि उसे मुंबई हमलों के अन्य अपराधियों को भी न्याय के कटघरे में लाना होगा, जिन्हें वह अब भी बचा रहा है.'' राणा (64) को अमेरिका द्वारा प्रत्यर्पण की सभी बाधाएं दूर करने के बाद 10 अप्रैल को भारत लाया गया था. पाकिस्तानी मूल का कनाडाई नागरिक राणा अब भारतीय जांच एजेंसियों की हिरासत में है.