PM आवास योजना-ग्रामीण के तहत गरीबों के लिए बने 2.69 करोड़ घर: केंद्रीय मंत्री

ग्रामीण विकास राज्य मंत्री चंद्रशेखर पेम्मासानी ने निचले सदन में कहा कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 2.95 करोड़ घरों के पिछले लक्ष्य के मुकाबले बाकी घरों के साथ अतिरिक्त दो करोड़ ग्रामीण घरों के निर्माण के लिए "वित्त वर्ष 2024-25 से 2028-29 के दौरान पीएमएवाई-जी के कार्यान्वयन" के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.

विज्ञापन
Read Time: 2 mins
पीएम आवास योजना-ग्रामीण के तहत गरीबों के लिए 2.69 करोड़ घर बने
नई दिल्ली:

प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण (पीएमएवाई-जी) के तहत वित्त वर्ष 2023-24 के अंत तक 2.69 करोड़ घर बनाए जा चुके हैं. 31 मार्च, 2024 तक बेसिक सुविधाओं के साथ 2.95 करोड़ पक्के घर बनाने का लक्ष्य रखा गया था, जिसके लिए केंद्र ने राज्यों को 2.26 लाख करोड़ रुपये दिए हैं. यह जानकारी लोकसभा में दी गई. 

ग्रामीण विकास राज्य मंत्री चंद्रशेखर पेम्मासानी ने निचले सदन में एक लिखित जवाब में कहा कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 2.95 करोड़ घरों के पिछले लक्ष्य के मुकाबले बाकी घरों के साथ अतिरिक्त दो करोड़ ग्रामीण घरों के निर्माण के लिए "वित्त वर्ष 2024-25 से 2028-29 के दौरान पीएमएवाई-जी के कार्यान्वयन" के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है. 

गरीबों को लिए क्या है सरकार का लक्ष्य?

पीएमएवाई-जी योजना के तहत, राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को यह सुनिश्चित करना है कि भूमिहीन लाभार्थी को सरकारी भूमि या सार्वजनिक भूमि जैसे पंचायत की आम भूमि, सामुदायिक भूमि या दूसरे स्थानीय प्राधिकरणों की भूमि या किसी दूसरी भूमि से भूमि प्रदान की जाए.

चुनी हुई भूमि के लिए, राज्यों द्वारा बिजली, रोड़ कनेक्टिविटी और पेयजल की उपलब्धता, ठोस और तरल अपशिष्ट प्रबंधन सुविधाओं समेत पर्याप्त इंफ्रास्ट्रक्चर सुनिश्चित किया जाना है. केंद्रीय मंत्री ने स्पष्ट किया कि भूमि राज्य का विषय है और राज्यों के भूमि अधिग्रहण मामलों में मंत्रालय की कोई भूमिका नहीं है. 

भूमिहीन लाभार्थियों की डिटेल्स इकट्ठी की जा रहीं

मंत्रालय शेष भूमिहीन लाभार्थियों को भूमि प्रदान करने के लिए राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों के साथ इस मामले को सक्रिय रूप से आगे बढ़ा रहा है. केंद्र राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को भूमिहीन लाभार्थियों के लिए भूमि प्रदान करने के लिए पीएमएवाई-जी के कार्यान्वयन के लिए रूपरेखा में निर्देश जारी कर रहा है. इसके अलावा, समीक्षा बैठकों और आधिकारिक संचार में राज्यों के साथ नियमित कार्रवाई की जाती है.

नियमित निगरानी के लिए पीएमएवाई-जी के आवाससॉफ्ट-एमआईएस पर भूमिहीन लाभार्थियों की डिटेल्स एकत्र करने के लिए एक मॉड्यूल विकसित किया गया है.

Advertisement
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Featured Video Of The Day
NDTV Auto Show: नई Skoda Kodiaq की पहली ड्राइव, Citroen Basalt Dark Edition का फर्स्ट लुक | Auto