गृहमंत्री अमित शाह (Home Minister Amit Shah) के बाबा साहब भीमराव आंबेडकर को लेकर दिए गए बयान पर घमासान मचा है. विपक्षी दलों ने संसद में सरकार पर जोरदार हमला बोला. अब इस मुद्दे पर पीएम मोदी ने अमित शाह का बचाव किया है. प्रधानमंत्री ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा है कि कांग्रेस और उसका सड़ा हुआ इकोसिस्टम सोचता है कि उनके दुर्भावनापूर्ण झूठ कई वर्षों के उनके कुकर्मों को छिपा सकते हैं. पीएम ने लिखा कि खासकर डॉ.आंबेडकर का जो कांग्रेस ने अपमान किया था उसे छिपा लेंगे अगर वो ये सोचते हैं तो वो उनकी गलतफहमी है. भारत के लोगों ने बार-बार देखा है कि कैसे एक परिवार के नेतृत्व वाली एक पार्टी ने डॉ. अंबेडकर की विरासत को मिटाने और एससी/एसटी समुदायों को अपमानित करने के लिए हर संभव गंदी चाल चली है.
अमित शाह ने क्या कहा था?
अमित शाह मंगलवार को संविधान के 75 वर्ष पूरे होने के अवसर पर बहस के दौरान सदन को संबोधित किया था. इस दौरान अमित शाह ने कहा था कि बीआर अंबेडकर का नाम लेना अब एक "फैशन" बन गया है. अब यह एक फैशन हो गया है.अंबेडकर, अंबेडकर, अंबेडकर, अंबेडकर, अंबेडकर, अंबेडकर. इतना नाम अगर भगवान का लेते तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता.
पीएम मोदी की प्रमुख बातें
- पीएम ने कहा कि लोगों ने अक्सर देखा है कि कैसे एक वंश के नेतृत्व वाली एक पार्टी ने आंबेडकर की विरासत को मिटाने के लिए हर गंदी चाल चली.
- यदि कांग्रेस और उसका सड़ा-गला परिवेषी तंत्र (इकोसिस्टम) सोचते हैं कि दुर्भावनापूर्ण झूठों से उनके गलत कार्यों, खासकर आंबेडकर के अपमान को छिपाया जा सकता है, तो वह बहुत बड़ी गलतफहमी में हैं.
- प्रधानमंत्री मोदी ने कांग्रेस के निशाने पर आये अमित शाह का बचाव करते हुए कहा कि गृह मंत्री ने राज्यसभा में आंबेडकर का अपमान करने के कांग्रेस के काले इतिहास को उजागर किया.
मोदी अर्काइव एक्स हैंडल से पीएम मोदी की एक तस्वीर पोस्ट की गयी है जिसमें लिखा गया है कि 1986 में जब पीएम मोदी बीजेपी में शामिल हुए तो उनकी शुरुआती पहलों में से एक डॉ. बी.आर. की विरासत का सम्मान करना था. अम्बेडकर - एक मिशन जिसे उन्होंने तब से जारी रखा है.
यह बहुत पहले की बात है जब डॉ. अम्बेडकर का नाम कुछ राजनीतिक संस्थाओं द्वारा अपने संकीर्ण राजनीतिक लाभ के लिए लिया गया था. पीएम मोदी के लिए, अंबेडकर के मूल्यों के प्रति श्रद्धा और विश्वास हमेशा एक आजीवन प्रतिबद्धता रही है, न कि राजनीतिक सुविधा का मामला.
कांग्रेस नेताओं ने मकर द्वार पर किया प्रदर्शन
कांग्रेस और कई अन्य विपक्षी दलों के सदस्यों ने गृह मंत्री अमित शाह द्वारा बाबासाहेब भीमराव आंबेडकर के संदर्भ में की गई एक टिप्पणी को लेकर बुधवार को संसद परिसर में विरोध प्रदर्शन किया और शाह से माफी की मांग की. संसद भवन के ‘मकर द्वार' के निकट कांग्रेस, द्रमुक और कुछ अन्य विपक्षी दलों के सांसद एकत्र हुए और शाह की टिप्पणी को लेकर विरोध जताते हुए नारेबाजी की। उन्होंने ‘जय भीम' और ‘बाबासाहेब का अपमान, नहीं सहेगा हिंदुस्तान' के नारे लगाए.
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा, द्रमुक नेता टी आर बालू और कई विपक्षी सांसद बाबासाहेब की तस्वीर लेकर प्रदर्शन में शामिल हुए.
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