आकाश मिसाइल की खासियत जानिए.
पाकिस्तान ने गुरुवार रात जब जम्मू-कश्मीर पर हमला किया तो स्वदेशी रूप से विकसित आकाश मिसाइल सिस्टम (Akash Missile System) ही था, जिसने मिसाइलों और ड्रोन को बेअसर कर दिया. इतना ही नहीं आकाश ने देश के पश्चिमी शहरों को दुश्मन के नापाक इरादों से सुरक्षित रखा. भारत का आकाश एयर डिफेंस सिस्टम सतह से हवा में मार करने वाली ऐसी मिसाइल है, जिसे एक साथ कई लक्ष्यों को निशाना बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है. इस मिसाइल को डीआरडीओ के पूर्व वैज्ञानिक डॉ. प्रहलाद रामाराव ने 15 सालों की कड़ी मेहनत के बाद विकसित किया था.
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'आकाश' की बहादुरी देख रो पड़े साइंटिस्ट
वक्त आने पर आकाश मिसाइल देश की उम्मीदों पर पूरी तरह से खरी उतरी. इसे देखकर डॉ. रामाराव बहुत ही खुश हैं. उन्होंने एनडीटीवी से कहा, "अपने बच्चे को दुश्मन के हवाई लक्ष्यों को इतनी सटीकता और खूबसूरती से मार गिराते हुए देखना जीवन का सबसे खुशी का दिन है. आकाश ने उम्मीद से बढ़कर काम किया.". डॉ. रामाराव ने बताया कि जब आकाश दुश्मन के लक्ष्यों को बढ़िया तरीके से मार गिरा रहा था, तो ये देखकर उनकी आंखों में आंसू आ गए.
डॉ. रामाराव की उम्र अब 78 साल है. 'मिसाइल मैन'और देश के पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम ने जब आकाश कार्यक्रम के था. वह इसके सबसे युवा प्रोजेक्ट डायरेक्टर थे.
'आकाश' को बनाने के पीछे का मकसद जानिए
आकाश मिसाइल को विकसित करने वाले डॉ. रामाराव ने बताया कि भारतीय सेना इस एयर डिफेंस सिस्टम को अपने बेड़े में शामिल करने में पहले हिचकिचा रही थी. जबकि इस मिसाइल को उन्होंने अपने सहयोगियों संग मिलकर ड्रोन, मिसाइलों, हेलीकॉप्टरों और अमेरिका में निर्मित सुपरसोनिक एफ-16 लड़ाकू विमानों जैसे विमानों को रोकने के लिए डिज़ाइन किया था.
आकाश, भारत का एकीकृत मानवरहित हवाई प्रणाली ग्रिड है, जो कि रूस निर्मित एस-400 और अन्य विमान भेदी हथियारों संग मिलकर एक ऐसी ढाल तैयार करती है जो दुश्मन को धूल चटाने में पूरी तरह से सक्षम है.
सरकारी सूत्रों का कहना है कि भारत ने यह दिखा दिया है कि वह न सिर्फ अपने आसमान की रक्षा करने बल्कि उसे नियंत्रित करने में भी पूरी तरह से सक्षम है. बता दें कि आकाश एयर डिफेंस सिस्टम को हैदराबाद में भारत डायनेमिक्स लिमिटेड ने बनाया था.
- आकाश एक छोटी दूरी का एंटी मिसाइल सिस्टम है.
- यह सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल प्रणाली.
- यह मिसाइल दुश्मन के हवाई खतरों से सुरक्षा देने में पूरी तरह सक्षम है.
- आकाश मिसइल एक समय में कई लक्ष्यों को एक साथ निशाना बना सकती है.
- इस मिसाइल में बिल्ट-इन इलेक्ट्रॉनिक काउंटर-काउंटर उपाय हैं.
- पूरे मिसाइल सिस्टम को मोबाइल प्लेटफ़ॉर्म पर कॉन्फ़िगर किया गया है
- जिसकी वजह से यह बहुत ज्यादा गतिशील और सेना के लिए बहुत ही शक्तिशाली है.
- आकाश मिसाइल 20 किमी तक की ऊंचाई पर लक्ष्यों को निशाना बना सकती है
आकाश मिसाइल की खासियत जानिए
आकाश के हर लांचर में तीन मिसाइलें होती हैं. ये 'फायर एंड फॉरगेट' मोड में काम करती हैं. हर मिसाइल लगभग 20 फीट लंबी और 710 किलो बजनी होती है. इसका वारहेड ही 60 किलो का होता है. यह सिस्टम पूरी तरह से ऑटोमैटिक है. इसमें रियल-टाइम, मल्टी-सेंसर डेटा प्रोसेसिंग और खतरे का मूल्यांकन करने की क्षमता है. यह लक्ष्यों की पहचान करने उसे बेअसर करने के लिए तेज़ी से काम करता है.
कितनी ताकतवर है आकाश मिसाइल
भारत का आकाश सिस्टम इतना ताकतवर है कि इसको 6,000 करोड़ रुपये में आर्मेनिया को भी निर्यात किया जा चुका है.
डॉ. रामाराव ने NDTV को बताया कि आकाश के लिए उनकी टैगलाइन 'सारा आकाश हमारा' है, या 'पूरा आकाश हमारा है'. आज उनकी हथियार प्रणाली उस प्रतिष्ठा पर खरी उतरी है.