भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी ने ‘नौकरी के बदले जमीन' लेने संबंधी घोटाले से जुड़े मामले में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की ओर से बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल होने के बाद उन्हें मंत्रिपरिषद से बर्खास्त किए जाने की मांग की है. सीबीआई ने इस मामले में तेजस्वी के अलावा पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद एवं पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया है.
मोदी ने एक बयान में कहा, ‘‘तेजस्वी यादव पर सीबीआई द्वारा आरोपपत्र दाखिल करने के बाद नीतीश कुमार को अविलम्ब तेजस्वी को बर्खास्त करना चाहिए.''
राज्यसभा सदस्य एवं बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री मोदी ने कहा कि जब लालू यादव पर मुख्यमंत्री रहते चारा घोटाला मामले में आरोपपत्र दाखिल हुआ था, तब नीतीश कुमार और जनता दल (यूनाइटेड) के नेता राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने लालू के इस्तीफे की मांग की थी.
उन्होंने कहा, ‘‘नीतीश कुमार भ्रष्टाचार से समझौता करेंगे या भ्रष्टाचार के आरोपी को बर्खास्त करेंगे, देखना है.''
नौकरी के बदले जमीन मामले में यह दूसरा आरोपपत्र है और इसमें 14 अन्य लोगों के भी नाम शामिल हैं. अधिकारियों ने बताया कि यह मामले में पहला आरोपपत्र दाखिल होने के बाद सामने आए दस्तावेजों और सबूतों के आधार पर दाखिल किया गया है.
सीबीआई ने आरोप लगाया है कि 2004-2009 में संप्रग सरकार में लालू प्रसाद के रेल मंत्री रहने के दौरान बिना किसी विज्ञापन या सार्वजनिक सूचना के नियमों और प्रक्रियाओं का उल्लंघन कर पसंदीदा लोगों को रेलवे में नियुक्त किया गया.
एजेंसी के मुताबिक, रेलवे में नौकरी के बदले में अभ्यर्थियों ने प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से लालू प्रसाद के परिवार के सदस्यों को बाजार भाव से काफी कम दरों पर जमीन बेची थी.
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