प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) को मिले तोहफों की नीलामी की जा रही है. पीएम को मिले 912 गिफ्ट्स के ई ऑक्शन में लोग बढ़चढ़कर हिस्सा ले रहे हैं. ई-ऑक्शन 31 अक्टूबर तक चलेगा, जिसकी शुरुआत 2 अक्टूबर को हुई थी यानी 31 अक्टूबर तक सबसे ज्यादा कीमत की बोली लगाने वालों को यह तोहफे मिल सकेंगे. नीलामी में मिले पैसे नमामि गंगे प्रोजेक्ट (Namami Gange Project) में लगाए जाएंगे. यह नीलामी डिजिटल माध्यम से हो रही है, लेकिन दिल्ली के नेशनल गैलरी ऑफ मॉडर्न आर्ट में कुछ तोहफों की प्रदर्शनी भी लगाई गई है, जिसे देखने के लिए भी लोग पहुंच रहे हैं.
इस नीलामी की खास बात यह है कि यहां सस्ते और महंगे दोनों तरह के गिफ्ट शामिल किए गए हैं. सबसे सस्ता तोहफा 100 रुपए का है, जो पश्चिम बंगाल में कालीघाट टेंपल के गर्भ गृह का डिजिटल प्रिंट है. वहीं सबसे महंगा गिफ्ट बनारस घाट की पेटिंग है, जिसकी बेस प्राइस 64 लाख 80 हजार रुपये है.
इन तोहफों में उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ का प्रधानमंत्री को दिया स्टेच्यू ऑफ राम दरबार भी शामिल है, जिसकी बेस प्राइस 55100 रुपये रखी गई है.
चंदन की लकड़ी की वीणा की भी काफी डिमांड है. यह पीएम मोदी को मिले सभी तोहफों में से टॉप टेन की डिमांड में शामिल है. इसे राजस्थानी आर्टिस्ट ने पीएम को गिफ्ट किया था.
यह पांचवीं बार है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तोहफों का ई ऑक्शन हो रहा है. इसके लिए pmmementos.gov.in की वेबसाइट बनाई गई है. नीलामी केंद्र सरकार के संस्कृति मंत्रालय की तरफ से किया जा रहा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जितने भी उपहार मिलते हैं उसकी नीलामी से जो भी पैसा आता है वो नमामि गंगे परियोजना में लगाया जाता है. नमामि गंगे प्रोजेक्ट की शुरुआत जून 2014 में हुई थी.
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