बच्चों में भी बढ़ रही है शुगर की बीमारी, जानिए बच्चों में होने वाली डायबिटीज का कारण और बचाव के तरीके

Causes of Diabetes In Children: बड़े ही नहीं बल्कि आजकल बच्चे भी तेजी से डायबिटीज का शिकार हो रहे हैं. बच्चों में होने वाले डायबिटीज का कारण जानकर इस गंभीर बीमारी से उनका बचाव करना बेहद जरूरी है.

Advertisement
Read Time: 4 mins

Causes of diabetes In Children: सेडेंटरी लाइफस्टाइल और गलत खानपान के कारण दुनिया भर में डायबिटीज के मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ती जा रही है. ब्लड में ग्लूकोज लेवल की मात्रा ज्यादा होने के कारण लोग इस बीमारी का शिकार होते हैं. डायबिटीज के कारण कई और बीमारियों का खतरा भी बढ़ जाता है. चिंता की बात यह है कि व्यस्कों के बाद अब बच्चे भी तेजी से इस गंभीर बीमारी का शिकार हो रहे हैं. आंकड़े की बात करें तो 0 से 19 साल के आयु वर्ग के 1.2 मिलियन बच्चे दुनियाभर में डायबिटीज से ग्रसित है. बच्चों में बढ़ते डायबिटीज के दर को लेकर एनडीटीवी ने एशियन इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज के एंडोक्राइनोलॉजी विभाग के सीनियर कंसल्टेंट डॉ. संदीप खरब से इस बारे में बातचीत की. उन्होंने मोटापे को बच्चों में डायबिटीज का सबसे कारण बताया.

बच्चों में डायबिटीज के कारण और बचाव (Causes And Prevention of Diabetes In Children)

1. मोटापा

डॉ. संदीप खरब मोटापा को बच्चों में डायबिटीज का सबसे बड़ा कारण मानते हैं. उन्होंने कहा, "आठ, दस और बारह साल के बच्चे डायबिटीज के साथ आते हैं. आज से दस साल पहले महीने में एक ऐसा केस आता था लेकिन आजकल हफ्ते में दो-तीन बच्चे आते हैं. बच्चों में डायबिटीज का मुख्य कारण जो मुझे समझ में आता है वह मोटापा ही है." डॉक्टर ने बताया कि जो बच्चे डायबिटीज के साथ आते हैं उनमें से ज्यादातर ओवर वेट रहते हैं.  

बच्चों को डायबिटीज से बचाने के लिए वजन को नियंत्रण में रखना बहुत जरूरी है. डॉ. संदीप का कहना है कि आजकल मां-बाप को लगता है कि अगर उनका बच्चा मोटा है तो वह हेल्दी है, जबकि मोटापे की वजह से डायबिटीज जैसी कई बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है.

Advertisement

यह भी पढ़ें: पेट दर्द और फूला हुआ पेट अक्सर करता है परेशान, तो जानिए पेट की गैस निकालने के लिए क्या करें

Advertisement

2. फिजिकल एक्टिविटी में कमी

सेडेंटरी लाइफस्टाइल की वजह से भी बच्चे डायबिटीज का शिकार हो रहे हैं. बच्चे अब पहले की तरह खेल-कूद जैसी एक्टिविटी में शामिल नहीं होते हैं. न्यूक्लियर फैमिली और पढ़ाई के बोझ के चलते उन्हें खेल-कूद के लिए पर्याप्त समय नहीं मिल पाता है. डॉ. संदीप खरब का कहना है कि कोरोना काल के बाद बच्चों के लाइफस्टाइल में काफी बदलाव आ गया है, अब उनका ज्यादातर समय घर में ही बीतता है. बाहर खेलने की जगह बच्चे घर पर ही मोबाइल फोन में गेम खेलते हैं.

Advertisement

एक ही जगह बैठे रहने के कारण बच्चों में मोटापे के साथ-साथ कई अन्य बीमारियों का खतरा भी बढ़ जाता है. इसलिए बच्चों को फिजिकली एक्टिव रखना बेहद जरूरी है. साइकलिंग, स्विमिंग और खुली जगह में खेलने-कूदने के लिए बच्चों को प्रोत्साहित करें.

Advertisement

3. गलत खानपान

गलत खानपान या साफ तौर पर कहें तो जंक फूड के बढ़ते इनटेक के चलते भी दुनिया भर में बच्चे डायबिटीज का शिकार हो रहे हैं. डॉ. संदीप खड़ब कहते हैं, "जंक फूड का मतलब ये नहीं है कि आप जो बाहर से खा रहे हैं वही जंक फूड है. कोई भी चीज जिसमें न्यूट्रिशन कम है और कैलोरी ज्यादा है वह जंक फूड है." पूरी, पकौड़े और मिल्क शेक को भी डॉक्टर ने बच्चों के लिए अनहेल्दी बताया है.

यह भी पढ़ें: भारत ने वजन घटाने और डायबिटीज की दवा को दी मंजूरी, जानिए कैसे काम करती है दवा और इसके नुकसान

बच्चों को डायबिटीज से बचाने के लिए संतुलित और हाई फाइबर फूड दें. हरी सब्जियों और फलों को डाइट में शामिल करें. इस तरह से उन्हें न सिर्फ डायबिटीज से बचाया जा सकता है बल्कि बच्चों के ओवर ऑल हेल्थ को बेहतर किया जा सकता है.

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

Featured Video Of The Day
Exit Poll Results 2024 | Jammu में दिक्कत नहीं, Kashmir में हम इंप्रूव कर रहे : Nirmal Singh | BJP