JEE Mains 2020: आज भी जहां समाज के एक हिस्से में लोग लड़कियाों को बोझ और उनकी पढ़ाई को फिजूल खर्ची समझने जैसी मानसिकता रखते हैं. वहीं दूसरी तरफ लड़कियां अलग-अलग क्षेत्रों में शानदार प्रदर्शन कर ऐसी सोच रखने वालों को अपने अंदाज में ही जवाब देती हैं. चाहे यूपीएससी की परीक्षा हो, 10वीं-12वीं के बोर्ड एग्जाम हों लड़कियां हर परीक्षा में अव्वल दर्जा हासिल कर रही हैं. कुछ इसी तरह दो लड़कियों ने भी इस साल जेईई मेन परीक्षा (JEE Mains Exam) में अपना लोहा मनवाया है. घर की कमजोर आर्थिक स्थिति के बावजूद छात्राओं ने शानदार प्रदर्शन किया है. जेईई मेन 2020 परीक्षा में रोहतक के हसनगढ़ गांव की सिमरन और फतेहाबाद के इंदाचोई गांव की काजल ने क्रमश: 99.47 और 99.31 प्रतिशत स्कोर किया है. खास बात ये है कि दोनों ही गरीब किसानों की बेटियां हैं.
इन दोनों छात्राओं समेत 46 छात्रों ने खुद को हरियाणा सरकार के सुपर 100 प्रोग्राम में रजिस्टर किया था. हिंदुस्तान टाइम्स से बातचीत में सिमरन ने बताया कि जेईई मेन की परीक्षा पास करना उनके लि्ए सपने के जैसा है पर उनका असली लक्ष्य जेईई एडवांस परीक्षा पास करना है.
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सिमरन ने बताया, "मैंने अपनी 10वीं तक की पढ़ाई गांव के स्कूल से की है और 10वीं में 90 प्रतिशत अंक प्राप्त किए. मेरे पिता का कुछ साल पहले एक्सीडेंट हो गया था. जिसके बाद उनको लकवा मार गया था इस सबके बावजूद उन्होंने अपने बच्चोंं की शिक्षा पर खर्च किया." सिमरन ने बताया कि वे कंप्यूटर साइंस इंजीनियर बनना चाहती हैं. इस उपलब्धि पर दोनों बच्चियों के माता-पिता को गर्व है.
काजल ने बातचीत में बताया कि वे अपनी सफलता का श्रेय सुपर 100 प्रोग्राम को देना चाहती हैं. वे अपनी पढ़ाई आईआईटी से करना चाहती हैं और कमजोर तबके के बच्चों को पढ़ाना चाहती हैं. बता दें कि नवीन मिश्रा ने रेवाड़ी में अपने पांच आईआईटी दोस्तों समेत सुपर 100 प्रोग्राम के तहत छात्रों को निशुल्क तैयारी कराई.
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