इलेक्ट्रॉनिक लॉक सिस्टम
लंदन:
भारतीय मूल के एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर को एडवांस इलेक्ट्रॉनिक स्मार्ट चाभी ( electronic smart key system ) तैयार करने वाला सिस्टम बनाने के लिए सम्मानित किया गया है। इस सिस्टम की खास ये है कि इसकी ना नकल की जा सकती है और न ही उन्हें तोड़ा जा सकता है।
लिंकोलन सिक्योरिटी लिमिटेड में पिछले दो वर्ष के केटीपी एसोसिएट के रूप में काम कर रहे नंदगोपाल लक्ष्मीनारायण को इनोवेट यूकेज ‘‘केटीपी बेस्ट ऑफ द बेस्ट अवॉर्डस 2015’ में ‘बिजनेस लीडर ऑफ द फ्यूचर’ अवार्ड दिया गया है। हालांकि उन्हें यह सम्मान पिछले महीने लंदन में आयोजित एक समारोह में दिया गया, लेकिन इसकी सार्वजनिक रूप से घोषणा सोमवार को की गयी।
ब्रिटेन की राष्ट्रीय केटीपी योजना के तहत विश्वविद्यालय और सुरक्षा फर्म के बीच हुई साझेदारी के परिणामस्वरूप यह परियोजना सामने आयी है।
इलेक्ट्रॉनिक ताला प्रणाली के लिए विकसित किए गए इस सॉफ्टवेयर को ‘ईएलओक्यू’ नाम दिया गया है और इसे लिंकोलन विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ कंप्यूटर साइंसेज और लिंकोलन सिक्योरिटी लिमिटेड ने केटीपी के तहत संयुक्त रूप से विकसित किया है।
मूल रूप से तमिलनाडु के रहने वाले और भारत तथा सिंगापुर में शिक्षा प्राप्त करने वाले लक्ष्मीनारायण ने कहा, ‘‘इस परियोजना ने मुझे शिक्षा और व्यवसाय दोनों पक्षों में शामिल होने का मौका दिया। केटीपी परियोजना ने नयी चुनौती पेश की थी, क्योंकि यह सिर्फ नवोन्मेष और तकनीक के बारे में नहीं था, बल्कि नए उत्पाद के संबंध में जागरूकता फैलाने के बारे में भी था।’’
लिंकोलन सिक्योरिटी लिमिटेड में पिछले दो वर्ष के केटीपी एसोसिएट के रूप में काम कर रहे नंदगोपाल लक्ष्मीनारायण को इनोवेट यूकेज ‘‘केटीपी बेस्ट ऑफ द बेस्ट अवॉर्डस 2015’ में ‘बिजनेस लीडर ऑफ द फ्यूचर’ अवार्ड दिया गया है। हालांकि उन्हें यह सम्मान पिछले महीने लंदन में आयोजित एक समारोह में दिया गया, लेकिन इसकी सार्वजनिक रूप से घोषणा सोमवार को की गयी।
ब्रिटेन की राष्ट्रीय केटीपी योजना के तहत विश्वविद्यालय और सुरक्षा फर्म के बीच हुई साझेदारी के परिणामस्वरूप यह परियोजना सामने आयी है।
इलेक्ट्रॉनिक ताला प्रणाली के लिए विकसित किए गए इस सॉफ्टवेयर को ‘ईएलओक्यू’ नाम दिया गया है और इसे लिंकोलन विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ कंप्यूटर साइंसेज और लिंकोलन सिक्योरिटी लिमिटेड ने केटीपी के तहत संयुक्त रूप से विकसित किया है।
मूल रूप से तमिलनाडु के रहने वाले और भारत तथा सिंगापुर में शिक्षा प्राप्त करने वाले लक्ष्मीनारायण ने कहा, ‘‘इस परियोजना ने मुझे शिक्षा और व्यवसाय दोनों पक्षों में शामिल होने का मौका दिया। केटीपी परियोजना ने नयी चुनौती पेश की थी, क्योंकि यह सिर्फ नवोन्मेष और तकनीक के बारे में नहीं था, बल्कि नए उत्पाद के संबंध में जागरूकता फैलाने के बारे में भी था।’’
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