एक भारतीय तकनीकी विशेषज्ञ ने जर्मन बहुराष्ट्रीय इंजीनियरिंग और इलेक्ट्रॉनिक कंपनी बॉश के खिलाफ मुकदमा ठोका है। इस मुकदमे में आरोप लगाया गया है कि कंपनी ने अमेरिका में भारतीय कर्मचारियों को टैक्स रिफंड को कंपनी को वापस करने के लिए मजबूर किया।
लीफ काबरेजर हेमैन एंड बर्नस्टेन विधि कंपनी के जरिये दाखिल मुकदमे में भारतीय नागरिक सूरज कामत ने आरोप लगाया कि बॉश ने गलत तरीके से अपने सभी गैर अमेरिकी नागरिक कर्मचारियों को उस इनकम टैक्स रिफंड को कंपनी को लौटाने को कहा, जो उन्होंने अमेरिका में काम करते हुए हासिल किए थे।
लॉस एंजिलिस की संघीय अदालत में दाखिल मुकदमे में शिकायतकर्ता ने वित्तीय नुकसान की भरपाई और तुरंत राहत की मांग की है। कामत ने आरोप लगाया, मैंने पूरी निष्ठा के साथ सालों तक बॉश के लिए काम किया। जब मैंने टैक्स रिफंड को वापस कंपनी में जमा कराए जाने की बाश की मांग का विरोध किया, तो कंपनी ने मुझे नौकरी से निकालने, भारत वापस भेजने और मेरी जिंदगी को नरक बनाने की धमकी दी। बॉश ने जिस तरीके से अपने कर्मचारियों को धमकाया है, वह आपत्तिजनक है और इसलिए मैं अपने लिए और अपने साथी कर्मचारियों के लिए बॉश के खिलाफ खड़ा हुआ हूं।