नेपाल में राजशाही और हिंदू राष्ट्र के लिए बड़ा प्रदर्शन, आगजनी-पथराव और तीन इलाकों में कर्फ्यू

नेपाल के काठमांडू के तिनकुने, सिनामंगल और कोटेश्वर इलाकों में कर्फ्यू लगाने का आदेश दिया गया है. एयरपोर्ट के पास राजशाही समर्थकों और पुलिस के बीच जबरदस्‍त झड़प हुई.

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
प्रदर्शनकारियों ने तिनकुने इलाके में एक घर में आग लगा दी.
नई दिल्‍ली :

नेपाल में राजशाही और हिंदू राष्‍ट्र की मांग पर जबरदस्‍त बवाल छिड़ा है. शुक्रवार को राजशाही समर्थकों ने जबरदस्‍त विरोध प्रदर्शन किया, जिसके बाद तीन इलाकों में कर्फ्यू लगाना पड़ा है. नेपाल पुलिस ने राजशाही समर्थकों को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस और पानी की बौछारों का इस्तेमाल किया. प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने एक घर में आग लगा दी और सुरक्षा बैरिकेड्स तोड़ने की कोशिश की. साथ ही राजशाही के हजारों समर्थकों ने राजा की बहाली की मांग करते हुए "राजा आओ देश बचाओ", "भ्रष्ट सरकार मुर्दाबाद" और "हमें राजशाही वापस चाहिए" जैसे नारे लगाए. 

नेपाल के काठमांडू के तिनकुने, सिनामंगल और कोटेश्वर इलाकों में कर्फ्यू लगाने का आदेश दिया गया है. पुलिसकर्मियों ने कहा, "कर्फ्यू आदेश जारी कर दिया गया है. आपसे अनुरोध है कि आप जल्द से जल्द इस इलाके से बाहर निकल जाएं."

एयरपोर्ट के पास राजशाही समर्थकों और पुलिस के बीच झड़प हुई. साथ ही प्रदर्शनकारियों ने एक टीवी स्टेशन के साथ-साथ कम्‍युनिस्‍ट पार्टी ऑफ नेपाल (एकीकृत समाजवादी) के कार्यालय पर भी हमला किया. 

तिनकुने इलाके में बेकाबू हालात

तिनकुने इलाके में हालात के बेकाबू हो गए. यहां पर राजशाही के हजारों समर्थकों ने राजशाही की बहाली की मांग करते हुए "राजा आओ देश बचाओ" और "भ्रष्ट सरकार मुर्दाबाद" और "हमें राजशाही वापस चाहिए" जैसे नारे लगाए. 

नेपाल के राष्ट्रीय झंडे और पूर्व राजा ज्ञानेंद्र शाह की तस्वीरें लेकर प्रदर्शनकारियों ने तिनकुने इलाके में एक घर में आग लगा दी और पुलिस द्वारा लगाए गए बैरिकेड्स को तोड़ने की कोशिश के दौरान उनकी पुलिस के साथ झड़प हुई. एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया कि इस दौरान झड़प में एक शख्‍स घायल हुआ है. 

Advertisement

बड़ी संख्‍या में पुलिसकर्मी तैनात

राजशाही के समर्थकों और विरोधियों ने अलग-अलग विरोध प्रदर्शन किए. झड़प को रोकने के लिए काठमांडू में सैकड़ों पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है.

वहीं प्रदर्शनकारियों ने प्रतिबंधित क्षेत्र न्यू बानेश्वर की ओर बढ़ने का प्रयास किया तो पुलिस ने कई युवकों को हिरासत में लिया. राजशाही समर्थक राष्ट्रीय प्रजातंत्र पार्टी और अन्य लोग विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए. 

Advertisement

2008 में खत्‍म हुई थी राजशाही

नेपाल के राजनीतिक दलों ने संसद के माध्‍यम से 2008 में 240 साल पुरानी राजशाही को समाप्त कर दिया और तत्कालीन हिंदू राज्य को एक धर्मनिरपेक्ष, संघीय, लोकतांत्रिक गणराज्य में बदल दिया था. पूर्व राजा ज्ञानेंद्र ने 19 मार्च को डेमाक्रेसी डे पर प्रसारित अपने वीडियो संदेश में समर्थन की अपील की थी. उसके बाद से ही उनके समर्थक राजशाही बहाली की मांग कर रहे हैं. 

इसके बाद पूर्व राजा ज्ञानेंद्र शाह के सैकड़ों समर्थकों ने राजधानी में उनके स्वागत में रैली निकाली थी. ज्ञानेंद्र जैसे ही देश के विभिन्न भागों में धार्मिक स्थलों का दर्शन कर पोखरा से काठमांडू के त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचे, समर्थकों ने उनके पक्ष में नारे लगाने शुरू कर दिए. इस रैली का उद्देश्य नेपाल में राजशाही की पुनः स्थापना के प्रति समर्थन प्रदर्शित करना था. 

Advertisement

राजशाही का विरोधी भी जुटे

दूसरी ओर, समाजवादी फ्रंट के नेतृत्व में हजारों राजशाही विरोधी भृकुटीमंडप में एकत्र हुए और "गणतंत्रीय व्यवस्था अमर रहे" और "भ्रष्ट लोगों के खिलाफ कार्रवाई करो" और "राजशाही मुर्दाबाद" जैसे नारे लगाए. 

राजशाही विरोधी मोर्चे में नेपाल की कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी सेंटर) और सीपीएन-यूनिफाइड सोशलिस्ट जैसी राजनीतिक पार्टियां भी शामिल हुईं. 

Featured Video Of The Day
RG Rape Case: Kolkata में एक साल बाद उबाल, Police-Protestors में हिंसक झड़प | Bengal Violence | TMC
Topics mentioned in this article