विज्ञापन
This Article is From Jun 28, 2023

मोबाइल युग के बच्चों को चाहिए नए जमाने की पेरेंटिंग, अपनी परवरिश में शामिल करें जेंटल पेरेंटिंग स्टाइल

समय के साथ बच्चों को मिल रहे एक्सपोजर को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता. इन नए वक्त और तेज रफ्तार से दुनिया से रूबरू हो रहे बच्चों को सही और गलत समझाने और सही तौर तरीके समझाने के लिए सिर्फ पेरेंटिंग नहीं जेंटल पेरेंटिंग की जरूरत है.

मोबाइल युग के बच्चों को चाहिए नए जमाने की पेरेंटिंग, अपनी परवरिश में शामिल करें जेंटल पेरेंटिंग स्टाइल
सही तौर तरीके समझाने के लिए सिर्फ पेरेंटिंग (Parenting) नहीं जेंटल पेरेंटिंग (Gentle Parenting) की जरूरत है.

What is Gentle Parenting: मोबाइल और इंटरनेट के युग में पेरेंटिंग (Parenting) के तौर तरीके बदलना मजबूरी हो गया है. कुछ अभिभावक आज भी अपना बचपन याद करते हुए ये कहते हैं कि हमारे माता पिता बहुत सख्त (Strict Parent) थे. लेकिन अब चाह कर भी वो सख्ती दिखा पाना हर माता पिता के बस की बात नहीं है. समय के साथ बच्चों को मिल रहे एक्सपोजर (Exposure) को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता. इन नए वक्त और तेज रफ्तार से दुनिया से रूबरू हो रहे बच्चों को सही और गलत समझाने और सही तौर तरीके समझाने के लिए सिर्फ पेरेंटिंग (Parenting) नहीं जेंटल पेरेंटिंग (Gentle Parenting) की जरूरत है.

डॉक्टर से जानिए क्या होता है जब आप चटकाते हैं उंगलियां, कहीं यह आदत जोड़ों के दर्द की वजह तो नहीं बनती 
pck0gomo

 वक्त के साथ बदल गया है पेरेंटिंग का तरीका (New Gentle Parenting Is Must With Time)

एक्शन की सही जगह समझाएं

अपने पेरेंटिंग में ये अंतर लाएं कि अब उन्हें सीख देने की जगह सही जगह पर सही एक्शन के मायने बताएं. एक उदाहरण के लिए ऐसे समझें कि बच्चा अगर किसी चीज की जिद पर अड़ कर चिल्ला रहा तो उसे ये न करें कि चिल्लाओ मत. बल्कि कहें कि यहां चिल्लाने से काम नहीं चलेगा. ताकि उसे सिचुएशन का फर्क समझ में आए.

बच्चों के मॉडल बनें 

बच्चे खुद को सही तरीके से एक्सप्रेस कर सकें इसकी शुरूआत आप से ही होती है. बच्चों को उदाहरण के साथ अलग अलग परिस्थितियां बताएं और ये भी बताएं कि उमसें आपने किस तरह से रिएक्ट किया. आपकी हिम्मत ही उसका व्यवहार बनेगी.

6tngaeao

मिलकर काम करें

सिर्फ हुक्म चलाने की जगह, कि ये करें या वो काम करें, बच्चों के साथ मिलकर काम करें. अपने काम में उन्हें शामिल करें या उनके काम में खुद शामिल हो. ताकि बच्चें मिल जुलकर काम करना तो सीखे हीं कुछ गलत करने जा रहे हों तो आपको देखकर सही तरीका चुन सके. आप अपने साथ काम में, बच्चों को जितना शामिल करेंगे दोनों का कन्वर्सेशन उतना ज्यादा बढ़ेगा साथ ही बच्चे स्क्रीन से भी दूर रहेंगे. ये ध्यान रखें कि एक्शन का असर शब्दों से ज्यादा होता है. बच्चे जैसा आपको करते देखेंगे. खुद भी वैसा ही करने की कोशिश करेंगे.

अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.बर्थडे ब्वॉय अर्जुन कपूर ने पैपराजी को दिया केक, कहा - आने के लिए धन्यवाद

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Previous Article
कॉफी में मिलाएं यह एक चीज और बना लें स्क्रब, त्वचा ऐसी निखरेगी कि तारीफ करने से खुद को रोक नहीं पाएंगे लोग
मोबाइल युग के बच्चों को चाहिए नए जमाने की पेरेंटिंग, अपनी परवरिश में शामिल करें जेंटल पेरेंटिंग स्टाइल
आंखों के नीचे दिखने वाले डार्क सर्कल्स पर दूध को लगाएं इस तरह, हफ्तेभर में दिखने लगेगा असर 
Next Article
आंखों के नीचे दिखने वाले डार्क सर्कल्स पर दूध को लगाएं इस तरह, हफ्तेभर में दिखने लगेगा असर 
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com