"PM मोदी का भगवान से डायरेक्ट कनेक्शन...", राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री पर कसा तंज, जानिए भाषण की 10 प्रमुख बातें

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा, "अभयमुद्रा कांग्रेस का प्रतीक है...अभयमुद्रा निर्भयता का संकेत है, आश्वासन और सुरक्षा का संकेत है, जो भय को दूर करता है और हिंदू, इस्लाम, सिख धर्म, बौद्ध धर्म और अन्य भारतीय धर्मों में दैवीय सुरक्षा और आनंद प्रदान करता है.

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नई दिल्ली:

18वीं लोकसभा के पहले सत्र में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर सोमवार को सदन में चर्चा हुई. नेता विपक्ष राहुल गांधी के भाषण के दौरान उनके बयान पर सदन में जमकर हंगामा देखने को मिला. बीजेपी नेताओं ने राहुल गांधी के बयान की तीखी आलोचना की. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) और गृहमंत्री अमित शाह (Home Minister Amit Shah) ने भी राहुल गांधी के बयान की निंदा की.  आइए जानते हैं राहुल गांधी के भाषण की प्रमुख बातें. 

  1. राहुल गांधी ने अपने भाषण की शुरुआत में कहा कि जय संविधान. इसकी हमने रक्षा की है. देश ने मिलकर संविधान की रक्षा की है. और अच्छा लग रहा है कि बीजेपी के लोग हर 2 मिनट में संविधान संविधान कर रहे हैं. पिछले 10 वर्षों से, संविधान पर, भारत के विचार पर, और जो कोई भी विरोध करता है उस पर व्यवस्थित हमला हो रहा है. 
  2. राहुल गांधी ने कहा कि संविधान और लाखों लोगों पर हमला हुआ जिन्होंने भाजपा द्वारा थोपे गए विचारों का विरोध किया. हममें से कई लोगों पर व्यक्तिगत रूप से हमला किया गया. हमारे कुछ नेता जेल में हैं. उनमें से एक को अभी-अभी मुक्त किया गया है. 
  3. जिस किसी ने भी सत्ता के संकेंद्रण, धन के संकेंद्रण, गरीबों, आदिवासियों पर आक्रमण के विचार का विरोध किया, उसे हिंसक तरीके से कुचल दिया गया. 
  4. लोगों को धमकाया गया और जेल में डाल दिया गया, यहां तक ​​कि मैं भी पीड़ित हूं. भारत सरकार के आदेश से, भारत के प्रधान मंत्री के आदेश से - 20 से अधिक मामले, 2 साल की कैद, मेरा घर छीन लिया गया, मीडिया द्वारा लगातार हमला. कानून प्रवर्तन द्वारा 55 घंटे की पूछताछ, जिसका मैंने आनंद लिया. पूछताछ के बाद अधिकारी ने मुझसे पूछा और मुझसे कहा कि तुम पत्थर के बने हो. 
  5. राहुल गांधी ने लोकसभा में अपनी स्‍पीच के दौरान भगवान शंकर की तस्वीर लहराई. इस पर स्पीकर ओम बिरला ने उनको टोकते हुए नियम पुस्तिका निकाल ली और कहा, "क्‍या सदन में हम शिवजी की तस्वीर भी नहीं दिखा सकते...? मेरे पास और भी तस्वीरें थीं, जिन्हें दिखाना चाहते था. इसके बाद उन्‍होंने कई भगवानों की तस्‍वीरें दिखाई."  राहुल गांधी ने कहा कि वह भगवान शिव से प्रेरणा लेते हैं. लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष में कहा, "भगवान शिव से मुझे विपरीत परिस्थितियों में संघर्ष की प्रेरणा मिली. शिव के गले में सांप है, जो विपत्तियों के सामने डटे रहने की प्रेरणा देता है. शिव के बाएं हाथ में त्रिशूल अहिंसा का प्रतीक है. 
  6. लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा, "अभयमुद्रा कांग्रेस का प्रतीक है...अभयमुद्रा निर्भयता का संकेत है, आश्वासन और सुरक्षा का संकेत है, जो भय को दूर करता है और हिंदू, इस्लाम, सिख धर्म, बौद्ध धर्म और अन्य भारतीय धर्मों में दैवीय सुरक्षा और आनंद प्रदान करता है.... हमारे सभी महापुरुषों ने अहिंसा और भय ख़त्म करने की बात की है...लेकिन, जो लोग खुद को हिंदू कहते हैं वे केवल हिंसा, नफरत, असत्य की बात करते हैं..."
  7. सशस्त्र बलों में प्रवेश के लिए अग्निवीर योजना पर बोलते हुए, लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा, "एक अग्निवीर ने बारूदी सुरंग विस्फोट में अपनी जान गंवा दी, लेकिन उसे 'शहीद' नहीं कहा जाता... 'अग्निवीर' इस्तेमाल करो और फेंक दो' वाला मजदूर है. इस अग्निवीर को कुछ नहीं मिलता." हालांकि, इस पर आपत्ति जताते हुए रक्षा मंत्री राजनाथ ने कहा कि अग्निवीर यदि युद्ध के दौरान मारे जाते हैं, तो उन्‍हें एक करोड़ रुपये दिये जाते हैं. राहुल गांधी को शायद इस बात की जानकारी नहीं है.
  8. राहुल गांधी ने यूपी के अयोध्‍या में बीजेपी को मिली हार पर तंज कसते हुए कहा, "भगवान राम की जन्मभूमि अयोध्या ने बीजेपी को एक संदेश दिया है. मैंने कल कॉफी पीते हुए इनसे (अवधेश पासी) पूछा कि हुआ क्या. आपको कब पता लगा कि आप अयोध्या में जीत रहे हो. इन्होंने कहा कि पहले दिन से पता था. 
  9. राहुल गांधी ने कहा कि वे चाहते थे कि नीट पर एक दिन सदन में अलग से चर्चा हो, 2 करोड़ युवाओं का नुकसान हुआ है. पिछले 7 साल में 70 बार पेपर लीक हुए हैं. इस संसद से पूरे देश को एक संदेश जाता है, इसलिए हम देश के विद्यार्थियों को संसद से संदेश भेजना चाहते हैं कि नीट का मसला इस संसद के लिए जरूरी है. 
  10. राहुल गांधी ने कहा कि प्रधानमंत्री कहते हैं कि गांधी मर गये. और उस गांधी को एक फिल्म द्वारा पुनर्जीवित किया गया. क्या आप इस अज्ञान को समझ सकते हैं कि गांधी को एक फिल्म द्वारा पुनर्जीवित किया गया था. नहीं, नहीं..गांधी मरे नहीं हैं, वे जीवित हैं. 
     

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