बीजेपी ने आज संविधान में बदलाव के बारे में किसी भी अटकल को खारिज किया. पार्टी ने दो-तिहाई बहुमत के साथ सत्ता में वापस आने पर संविधान में बदलाव करने की अपने सांसद अनंत कुमार हेगड़े की टिप्पणी से खुद को अलग कर लिया.
बीजेपी ने सांसद की टिप्पणी के कुछ ही घंटों बाद एक्स पर एक पोस्ट में लिखा- "संविधान पर सांसद अनंत कुमार हेगड़े की टिप्पणी उनके निजी विचार हैं और यह पार्टी के रुख को प्रतिबिंबित नहीं करते हैं. बीजेपी देश के संविधान को बनाए रखने के लिए हमारी अटूट प्रतिबद्धता की पुष्टि करती है और हेगड़े से उनकी टिप्पणियों के संबंध में स्पष्टीकरण मांगेगी."
इससे पहले बीजेपी सांसद अनंत कुमार हेगड़े ने रविवार को कहा कि प्रस्तावना से ‘धर्मनिरपेक्ष' शब्द को हटाने के लिए बीजेपी संविधान में संशोधन करेगी. उन्होंने लोगों से लोकसभा में बीजेपी को दो-तिहाई बहुमत देने का आह्वान किया, ताकि देश के संविधान में संशोधन किया जा सके. हेगड़े ने छह साल पहले भी इसी तरह का बयान दिया था.
हेगड़े ने कहा कि बीजेपी को संविधान में संशोधन करने के लिए और ‘‘कांग्रेस द्वारा इसमें जोड़ी गईं अनावश्यक चीजों को हटाने के लिए'' संसद के दोनों सदनों में दो-तिहाई बहुमत की जरूरत होगी. उन्होंने कर्नाटक के करवार में एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि बीजेपी को इसके लिए 20 से अधिक राज्यों में सत्ता में आना होगा.
कर्नाटक से छह बार के लोकसभा सांसद हेगड़े ने कहा, ‘‘अगर संविधान में संशोधन करना है, कांग्रेस ने संविधान में अनावश्यक चीजों को जबरदस्ती भरकर, विशेष रूप से ऐसे कानून लाकर, जिनका उद्देश्य हिंदू समाज को दबाना था, संविधान को मूल रूप से विकृत कर दिया है - यदि यह सब बदलना है, तो यह इस (वर्तमान) बहुमत के साथ संभव नहीं है.''
उन्होंने कहा, ‘‘अगर हम सोचते हैं कि यह किया जा सकता है, क्योंकि लोकसभा में कांग्रेस नहीं है और (प्रधानमंत्री नरेन्द्र) मोदी के पास लोकसभा में दो-तिहाई बहुमत है, और चुप रहें, तो यह संभव नहीं है.'' उन्होंने कहा कि संविधान में बदलाव के लिए लोकसभा, राज्यसभा में दो-तिहाई बहुमत के साथ-साथ दो-तिहाई राज्यों में भी जीत हासिल करना जरूरी है.
अनंत कुमार हेगड़े ने कहा, ‘‘मोदी ने कहा है कि ‘अबकी बार, 400 पार', 400 पार क्यों? लोकसभा में हमारे पास दो-तिहाई बहुमत है, लेकिन राज्यसभा में हमारे पास दो-तिहाई बहुमत नहीं है. हमारे पास कम बहुमत है. राज्य सरकारों में हमारे पास पर्याप्त बहुमत नहीं है.'' उन्होंने कहा कि आगामी लोकसभा चुनाव में राजग को 400 सीट मिलने से इसी तरह का बहुमत राज्यसभा में भी हासिल करने में मदद मिलेगी.
कर्नाटक में हाल ही में हुए राज्यसभा चुनावों में तीन सीट पर कांग्रेस और एक पर बीजेपी की जीत की ओर इशारा करते हुए हेगड़े ने कहा कि अगर कांग्रेस की संख्या बढ़ती है तो बीजेपी सरकार द्वारा किया गया कोई भी संविधान संशोधन राज्यसभा में पारित नहीं हो पाएगा.
नागरिकता संशोधन अधिनियम का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि यह लोकसभा में पारित हो गया, लेकिन बाद में राज्यसभा में ‘बड़े प्रयासों से' पारित हुआ. हेगड़े ने कहा कि लेकिन कई राज्य सरकारों ने इसे मंजूर नहीं किया और इसे लागू नहीं किया जा सका.
हेगड़े ने कहा, ‘‘अब सरकार की योजना सीएए को एक संशोधन के माध्यम से लागू करने की है. यदि नहीं हुआ, तो कानून व्यवस्था नियंत्रण से बाहर हो जाएगी और राष्ट्र-विरोधियों को खुली छूट मिल जाएगी.'' हेगड़े ने ‘राष्ट्र विरोधियों' के संदर्भ में स्पष्ट रूप से कोई नाम नहीं लिया.
उन्होंने कहा, 'अगर हम 400 से अधिक लोकसभा सीटें जीतते हैं, तो हम विधानसभा सीट भी जीत सकते हैं. इससे 20 से अधिक राज्य हमारे पास आ जाएंगे और राज्य सरकारों में भी हमारे पास दो-तिहाई बहुमत होगा. लोकसभा, राज्यसभा और राज्य सरकारों में दो-तिहाई बहुमत अगर एक बार हो जाए, तो फिर देखें कि यह कैसा होगा.''
वर्ष 2017 में भी तत्कालीन कौशल विकास राज्य मंत्री अनंत कुमार हेगड़े ने संविधान में बदलाव की बात करके विवाद खड़ा कर दिया था. बाद में उन्होंने लोकसभा में माफी मांगी थी, हालांकि यह भी कहा था कि उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया था.
(इनपुट भाषा से भी)