जातिगत जनगणना (Caste Census) का मामला बिहार (Bihar) में एक बार फिर तूल पकड़ रहा है. मुख्य विपक्षी दल राष्ट्रीय जनता दल (RJD) ने इस मुद्दे पर बिहार के मुख्य मंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) को विधिवत रूप से ये ऑफ़र दिया है कि वो फ़ैसला लें, तो आने वाले हर संकट से निबटने में राजद उनका साथ देगा.
बिहार राजद के अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने पटना में बृहस्पतिवार को ये घोषणा की और कहा कि अगर जातिगत जनगणना के मामले पर बीजेपी नीतीश कुमार का साथ छोड़ेगी तो राष्ट्रीय जनता दल मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का समर्थन करेगा. सिंह ने बीजेपी पर इस मामले को ठंडे बसते में डालने का भी आरोप लगाया.
नीतीश ने माना, भाजपा के कारण जातिगत जनगणना पर सर्वदलीय बैठक में हो रही देरी
जगदानंद सिंह के इस ऑफ़र के बाद बिहार में सता के गलियारे में क़यासों का दौर शुरू हो गया है. सोमवार को जब जनता दरबार में इस सम्बंध में नीतीश कुमार से पूछा गया था तो उन्होंने एक तरह से माना था कि बीजेपी के कारण सर्वदलीय बैठक बुलाने में विलंब हो रहा है.
राजद के इस ऑफर का जनता दल यूनाइटेड संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने स्वागत किया है.
उधर, आज (शुक्रवार) सुबह बिहार भाजपा के अध्यक्ष संजय जायसवाल ने फ़ेसबुक के माध्यम से इस मामले पर अपनी विस्तृत प्रतिक्रिया तो दी लेकिन जातिगत जनगणना पर उन्होंने पार्टी का स्टैंड साफ़ नहीं किया. संजय जायसवाल ने अपने पोस्ट में राजद खासकर लालू यादव पर निशाना साधा है.
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उन्होंने लिखा है, "जोंक जिस प्रकार मनुष्य का इंतजार करता है और एक बार में ही मनुष्य रक्त मिलने पर महीनों का प्रबंध कर लेता है, उसी प्रकार समाजवादी परीजीवी नेता भी सत्ता का इंतजार करते रहते हैं. जिस उम्र में राम भजन करना चाहिए उस उम्र में भी इस बात का इंतजार है कि कब किसी गलती से सत्ता पुनः मिल जाए और फिर पिछली बार की भांति गरीबों का दोहन कर सकें."