पश्चिम बंगाल में SSC भर्ती घोटाले में ED की छापेमारी जारी है. इस मामले में राज्य के पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी की करीबी अर्पिता मुखर्जी के घरों से 50 करोड़ से ज़्यादा की बरामदगी हो चुकी है. साथ ही 5 किलो सोना भी बरामद किया गया है. सबसे बड़ा सवाल यही है कि आखिर ये 50 करोड़ किसके हैं, अर्पिता के या पार्थ के. खैर ये सब बाद में ईडी की जांच में साबित होगा. अर्पिता की बात करें तो कोलकाता से दूर उनका एक घर है, जहां उनकी बूढ़ी मां रहती हैं, उन्हें पैसों के बारे में कुछ नहीं पता, सिर्फ वह पिछले हफ्ते मिलने आई थी तो उनका हाल चाल लिया था.
वहीं ईडी का कहना है उनकी छापों की कार्रवाई पूरी हो चुकी है. लेकिन अब उन भी उन संपत्तियों का ब्योरा तलाश रहा है जो मंत्री और अभिनेत्री के नाम पर हैं. पहले दो छापों में 50 करोड़ मिल चुके हैं. ईडी को ये भी जानना है कि अर्पिता सिर्फ पैसों का ही हिसाब किताब रखती थीं या इस घोटाले में भी उनका सीधा हाथ है. ईडी को जो कागज मिले हैं, वो इशारा कर रहे हैं कि दो कपड़ा कंपनियों की भी जांच होगी. ये सीधे तौर पर अर्पिता से जुड़ी हैं.
अर्पिता और पार्थ के कारोबारी रिश्ते तो दिख ही रहे हैं. 2011 से अर्पिता पार्थ चटर्जी के दुर्गा पूजा आयोजनों का मुख्य चेहरा बनी हुई थीं. दुर्गा पंडालों में ममता के साथ अर्पिता की तस्वीरें भी लगी थीं, जो अब वायरल हो रही हैं. इस बीच ईडी का कहना है कि पार्थ जांच में सहयोग नहीं कर रहे, उन्होंने गिरफ्तारी वारंट पर साइन करने से मना कर दिया है. ऐसे समय जब ममता बनर्जी कह रही हैं कि बंगाल के पैसा नहीं है, उनके मंत्रियों के पास से 50 करोड़ की जब्ती बता रही है कि लूट कितनी बड़ी हुई है.
वहीं ED सूत्रों के हवाले से खबर है कि अब अर्पिता मुखर्जी की चार गाड़ियों की तलाश हो रही है. ये गाड़ियां अर्पिता के डायमंड सिटी फ़्लैट वाले घर से गायब हैं. गायब गाड़ियों में एक ऑडी, एक मर्सिडीज़, एक होंडा सीआरवी और एक होंडा सिटी है. ED के मुताबिक- इन गायब गाड़ियों में भारी संख्या में कैश था. इन्हीं गाड़ियों की तलाश में छापे मारे जा रहे हैं और CCTV फुटेज खंगाला जा रहा है..ED सूत्रों की माने तो अर्पिता की गिरफ्तारी के समय एक मर्सिडीज़ बरामद हुई थी.
उधर,पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने आखिरकार मंत्री पार्थ चटर्जी पर कार्रवाई कर दी. मंत्री पद से उनकी छुट्टी कर दी गई है, इसके साथ ही टीएमसी के सभी पदों से भी उन्हें हटा दिया गया है. टीएमसी के वरिष्ठ नेता और ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक बनर्जी ने इस मुद्दे पर कहा कि भ्रष्टाचार पर टीएमसी की ज़ीरो टॉलरेंस नीति है.