कहीं आप भी तो नहीं खा रहे हैं इस तरह के आलू, पड़ सकते हैं लेने के देने, जान लें ये जरूरी बातें

Sprouted Potatoes Side Effects: अंकुरित या हरे आलू में ग्लाइको एल्कलॉइड (सोलनिन और चैकोनिन) तेजी से बढ़ जाते हैं, जो पाचन और न्यूरोलॉजिकल समस्याएं पैदा कर सकते हैं. इसलिए इस तरह के आलू का सेवन करने से बचना चाहिए.

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
Sprouted Potatoes Side Effects: कौन से आलू नहीं खाने चाहिए.

आलू इंडियन किचन का सबसे ज़रूरी हिस्सा हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि जब आलू में अंकुर निकलने लगते हैं या वे हरे दिखने लगते हैं, तो वे आपकी सेहत के लिए खतरा बन सकते हैं? एक्सपर्ट्स के मुताबिक, यह कंडीशन इस बात का संकेत है कि आलू खुद को कीड़ों से बचाने के लिए नेचुरल जहरीले कंपाउंड बना रहा है. इन्हीं कंपाउंड को ग्लाइको एल्कलॉइड कहा जाता है, जो सोलनिन और चैकोनिन हैं.

सोलनिन पॉइजनिंग के लक्षण-

जर्नल ऑफ एग्रीकल्चरल एंड फूड केमिस्ट्री में पब्लिश एक रिसर्च में पाया गया है कि अंकुरित आलू में सोलनिन का लेवल नॉर्मल आलू की तुलना में कई गुना बढ़ जाता है. यही वजह है कि ऐसे आलू का सेवन करने पर हल्के से लेकर गंभीर लक्षण तक दिखाई दे सकते हैं, जैसे कि जी मिचलाना, उल्टी, दस्त, पेट दर्द, सिरदर्द, चक्कर, कन्फ्यूजन और बहुत गंभीर मामलों में न्यूरोलॉजिकल दिक्कत, जैसे ब्रेन फॉग या लकवा तक.

ये भी पढ़ें- फैट से फिट होने के लिए नाश्ते में खा लें ये 1 चीज, मोम की तरह बह जाएगी शरीर में जमा अतिरिक्त चर्बी 

Photo Credit: Pexels

अंकुरित आलू को पहचानें कैसे?

जब आलू पर “आंखें” या छोटे-छोटे अंकुर दिखने लगे, तो यह ग्लाइको एल्कलॉइड बढ़ने का संकेत होता है. वहीं रोशनी में रखे आलू हरे पड़ जाते हैं, क्योंकि उनमें क्लोरोफिल बनने लगता है, यह भी सोलनिन लेवल बढ़ने का संकेत है. गर्म और नमी वाली जगहों पर रखे आलू तेजी से अंकुरित होते हैं और इनमें टॉक्सिन जमा होने का खतरा और बढ़ जाता है.

एक्सपर्ट्स बताते हैं कि छोटे अंकुर भी कुछ लोगों, विशेषकर बच्चों, बुजुर्गों और सेंसिटिव पाचन सिस्टम वाले लोगों, के लिए खतरनाक हो सकते हैं. सोलनिन पॉइजनिंग के मामले काफी कम हैं, लेकिन जब होती है, तो गंभीर हो सकती है. इसके लक्षण आमतौर पर सेवन के 8–12 घंटे बाद दिखाई देते हैं.

अंकुरित आलू को सेफ तरीके से कैसे रखें?

सबसे पहले, ऐसे आलू को फ़ौरन अलग कर दें जिनमें अंकुर दिख रहे हों या हरा भाग मौजूद हो. पकाने या उबालने से ग्लाइको एल्कलॉइड पूरी तरह नष्ट नहीं होते, इसलिए यह मान लेना गलत है कि हीट से जहर खत्म हो जाएगा. सबसे सेफ तरीका है कि इस तरह के आलू को फेंक दिया जाए. आलू हमेशा ठंडी, सूखी और अंधेरी जगह पर स्टोर करें, इससे अंकुर निकलने की रफ़्तार कम होती है और सोलनिन बनने की संभावना घटती है.

World Heart Day: दिल की बीमार‍ियां कैसे होंगी दूर, बता रहे जाने-माने पद्मभूषण डॉक्‍टर TS Kler

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

Featured Video Of The Day
Yo Yo Honey Singh: Moose Wala के गाने, Badshah से बहस और नशे की लत पर EXCLUSIVE और UNFILTERED!