गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई (Lawrence Bishnoi) गैंग के पांच गुर्गों को हरियाणा पुलिस (Haryana Police) की स्पेशल टास्क फोर्स ने गिरफ्तार किया है. बदमाशों में दो हरियाणा, एक दिल्ली (Delhi), एक राजस्थान (Rajasthan) और एक पंजाब (Punjab) का रहने वाला है. सभी बदमाश लॉरेंस बिश्नोई गैंग के लिए हथियारों और लग्जरी गाड़ियों की सप्लाई करते थे. आरोपी दिल्ली, हरियाणा, यूपी और पंजाब में ड्रग्स की सप्लाई भी करते थे. एसटीएफ का दावा है कि ये सभी बदमाश रंगदारी वसूलने का काम भी करते थे.
स्पेशल टास्क फोर्स की बहादुरगढ़ यूनिट ने इंचार्ज विवेक मलिक की अगुवाई मे लॉरेंस बिश्नोई गैंग के 5 गुर्गों को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है. एसपी सुमित कुमार ने बताया कि पंजाबी गायक सिद्धू मुझसे वाला हत्याकांड में गिरफ्तार टीनू भिवानी का छोटा भाई चिराग और कार चोरी करने के आरोपी दिल्ली के मनोज बक्करवाला के अलावा राजस्थान के बाड़मेर निवासी प्रकाश, पिंजौर के अमित और जीरकपुर निवासी संजय को बहादुरगढ़ बाईपास से गिरफ्तार किया गया है.
सभी बदमाश चोरी की टोयोटा इनोवा और महिंद्रा स्कार्पियो गाड़ी से दिल्ली की ओर से हरियाणा में घुसे थे. एसपी सुमित कुमार ने बताया कि पकड़े गए सभी आरोपी लंबे समय से लॉरेंस बिश्नोई और काला जठेड़ी गिरोह के लिए काम कर रहे थे. सभी आरोपियों पर हरियाणा, पंजाब, दिल्ली और उत्तर प्रदेश में कई जगह पर अनेक केस दर्ज हैं.
पकड़े गए आरोपी लॉरेंस बिश्नोई गैंग के लिए लग्जरी गाड़ियां चोरी करते थे और उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में गाड़ियों के फर्जी कागजात तैयार करवाते थे. पुलिस पूछताछ में मनोज नाम के आरोपी ने बताया है कि चोरी की एक फॉर्च्यूनर गाड़ी हिमाचल प्रदेश के बद्दी में उसके किराए के फ्लैट में खड़ी है, जिसके बारे में केवल वही जानता है. फिलहाल पुलिस ने उस गाड़ी को कब्जे में लेने के लिए भागदौड़ शुरू कर दी है.
एसपी सुमित कुमार ने बताया कि दक्षिण हरियाणा में लॉरेंस बिश्नोई गैंग का ड्रग्स का कारोबार चिराग उर्फ कालू संभालता है. लॉरेंस के साथी बदमाश टीनू भिवानी और उसके साथियों ने मिलकर भिवानी के कई इलाकों में दूसरे लोगों के नाम पर शराब के ठेके भी ले रखे हैं. ये बदमाश राजस्थान में भी शराब की अवैध सप्लाई करते हैं. आरोपी चिराग पूरे क्षेत्र में चरस और चिट्टे की बिक्री और सप्लाई करने का काम भी करता है.
आरोपी मनोज बक्करवाला लग्जरी गाड़ियां चोरी करने का आदतन अपराधी रह चुका है. अभी तक देश के विभिन्न राज्यों में वह सैकड़ों गाड़ियां चोरी कर चुका है. वह इससे पहले ओएलएक्स पर गाड़ियों की डिटेल चेक करता था. इसके बाद परिवहन एप के नंबर से उसका इंजन और चेचिस नंबर प्राप्त कर चोरी की हुई गाड़ी का इंजन और चेसिस नंबर पंचिंग करवाने के लिए मेरठ जाता था. साथ ही उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में अपने एक और सहयोगी से मिलकर चोरी की गाड़ी के कागजात तैयार करवाता था और फिर उसी गाड़ी को मोटी रकम लेकर लॉरेंस बिश्नोई गैंग के बदमाशों के जरिए बेच देता था.
आरोपी मनोज ने पुलिस पूछताछ में कबूल किया है कि वह और उसके साथी लॉरेंस बिश्नोई गैंग के लिए हथियार और ड्रग्स उपलब्ध कराते हैं. वह 10 साल जेल की हवा भी खा चुका है. जब वह गिरोह बंदी के केस में लुधियाना जेल में बंद था, तो वही लॉरेंस गिरोह के टीनू से उसकी दोस्ती हो गई थी. उसके जरिए ही वह और उसके साथी बिश्नोई गैंग में शामिल हुए थे.
फिलहाल पुलिस आरोपियों से गहनता से पूछताछ करने में जुटी हुई है. आरोपियों से पूछताछ में और भी कई बड़ी वारदातों का खुलासा होने की उम्मीद है. आरोपियों की निशानदेही पर चोरी की गई गाड़ियां बरामद करने की कोशिश भी पुलिस ने शुरू कर दी है. इतना ही नहीं फर्जी कागजात तैयार करने वाले व्यक्ति की गिरफ्तारी के लिए भी स्पेशल टीम का गठन किया गया है.
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