
प्रतीकात्मक तस्वीर
नयी दिल्ली:
दिल्ली उच्च न्यायालय ने निजी और सरकारी स्कूलों में गरीब बच्चों को मुफ्त अध्ययन सामग्री और पोशाक प्रदान करने के तौर-तरीके तय करने के लिए एक समिति गठित करने का फैसला किया।
न्यायमूर्ति बदर दुरेज अहमद और न्यायमूर्ति सिद्धार्थ मृदुल की पीठ ने दिल्ली सरकार और निजी स्कूलों से शिक्षा के क्षेत्र और सरकार की तरफ से विशेषज्ञों के नाम सुझाने को कहा, जिन्हें समिति का हिस्सा बनाया जा सकता है।
अदालत उसके बाद समिति का गठन करेगी। वह न सिर्फ तौर-तरीके तय करेगी बल्कि इस बात की निगरानी भी करेगी कि क्या निजी और सरकारी स्कूलों में आर्थिक रूप से कमजोर तबके के छात्रों को मुफ्त में पुस्तक और पोशाक प्रदान की जा रही है।
पीठ ने विशेषज्ञ समिति गठित करने का फैसला तब किया जब दिल्ली सरकार के वरिष्ठ वकील राहुल मेहरा ने अदालत से कहा कि आप प्रशासन ईडब्ल्यूएस छात्रों और अन्य छात्रों को प्रदान की जाने वाली पोशाक और अध्ययन सामग्री में एकरूपता लाने के पक्ष में है।
न्यायमूर्ति बदर दुरेज अहमद और न्यायमूर्ति सिद्धार्थ मृदुल की पीठ ने दिल्ली सरकार और निजी स्कूलों से शिक्षा के क्षेत्र और सरकार की तरफ से विशेषज्ञों के नाम सुझाने को कहा, जिन्हें समिति का हिस्सा बनाया जा सकता है।
अदालत उसके बाद समिति का गठन करेगी। वह न सिर्फ तौर-तरीके तय करेगी बल्कि इस बात की निगरानी भी करेगी कि क्या निजी और सरकारी स्कूलों में आर्थिक रूप से कमजोर तबके के छात्रों को मुफ्त में पुस्तक और पोशाक प्रदान की जा रही है।
पीठ ने विशेषज्ञ समिति गठित करने का फैसला तब किया जब दिल्ली सरकार के वरिष्ठ वकील राहुल मेहरा ने अदालत से कहा कि आप प्रशासन ईडब्ल्यूएस छात्रों और अन्य छात्रों को प्रदान की जाने वाली पोशाक और अध्ययन सामग्री में एकरूपता लाने के पक्ष में है।
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