फिलिपींस के पूर्व राष्ट्रपति को थीं ट्रंप से बड़ी उम्मीदें, मगर इंटरनेशनल कोर्ट के वारंट से अरमानों पर फिरा पानी

जब रोड्रिगो दुर्तेते फिलीपींस के राष्ट्रपति थे, तब उन्होंने फिलीपींस को ड्रग्स मुक्त बनाने के लिए कई अभियान चलाएं. लेकिन इन अभियानों के दौरान उनकी सेना और सुरक्षा बलों ने लोगों के प्रति हिंसक रवैया अपनाया, जिसके कारण हजारों लोगों की जान गई.

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मनीला:

दुनियाभर में डिप्लोमेसी में इन दिनों जो कुछ हो रहा है सभी में अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप कहीं न कहीं से जुड़े हुए जरूर नज़र आते हैं. राष्ट्रपति बनने के बाद लगातार बडे़-बड़े संस्थाओं को डोनाल्ड ट्रंप आंख दिखा रहे हैं. इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट के बजट में व्हाइट हाउस ने कटौती की बात पहले ही कह दी है. जानकार बताते हैं कि ट्रंप सरकार आईसीसी को एक भी पैसा नहीं देना चाहता है. इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट को अप्रभावी संस्था कहकर ट्रंप कई बार मजाक उड़ा चुके हैं. इन सभी बातों के बीच डोनाल्ड ट्रंप के करीबी फिलीपींस के पूर्व राष्ट्रपति रोडरिगो दुर्तेते को फिलीपींस की सरकार ने गिरफ्तार कर लिया है. दुर्तेते के खिलाफ इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट ने वारंट जारी किया था जिसके बाद उनकी गिरफ़्तारी हुई है. 

रोडरिगो दुर्तेते पर क्या आरोप

दुर्तेते पर आरोप है कि अपने राष्ट्रपति कार्यकाल के दौरान ड्रग्स के खिलाफ अभियान के नाम पर बड़े पैमाने पर हिंसा और मानवाधिकार उल्लंघन को उन्होंने बढ़ावा दिया. जब रोड्रिगो दुर्तेते फिलीपींस के राष्ट्रपति थे, तब उन्होंने फिलीपींस को ड्रग्स मुक्त बनाने के लिए कई अभियान चलाएं. लेकिन इन अभियानों के दौरान उनकी सेना और सुरक्षा बलों ने लोगों के प्रति हिंसक रवैया अपनाया, जिसके कारण हजारों लोगों की जान गई. दुर्तेते के आदेश पर पुलिस और सेना ने कई लोगों को मौत के घाट उतार दिया बिना किसी जांच के. पूरी घटना के बाद फिलीपींस में जबरदस्त बवाल मचा और देखते ही देखते यह मामला इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट तक पहुंचा. जहां मानवाधिकार उल्लंघन के मामलों पर सुनवाई हुई.

रोड्रिगो दुर्तेते और ट्रंप के बीच क्या ताल्लुक

इसके बाद कोर्ट ने दुर्तेते के खिलाफ वारंट जारी कर दिया और इंटरपोल के जरिए फिलीपींस सरकार को यह वारंट भेजा गया. फिलीपींस कि सरकार के पास जैसे ही वारंट पंहुचा, उन्होंने तुरंत दुर्तेते को गिरफ्तार कर लिया. हालांकि इस गिरफ़्तारी के पीछे सियासी खेल होने कि बात भी कही जा रही है. कुछ लोगों का मानना है कि फिलीपींस के वर्तमान राष्ट्रपति बी. मार्कोस ने अपने सबसे बड़े राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी दुर्तेते को रास्ते से हटाने के लिए यह चाल चली है. रोड्रिगो दुर्तेते को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का करीबी माना जाता है. दोनों नेताओं के बीच अच्छे संबंध रहे हैं और ट्रंप के कार्यकाल के दौरान अमेरिका और फिलीपींस के संबंधों में काफी मजबूती देखी गई थी.

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2020 में दुर्तेते खुलेआम कहा था कि ट्रंप को दोबारा चुनकर आना चाहिए, जिससे दुनिया का कल्याण हो सके. हालांकि, अमेरिका में 2020 के चुनाव में डोनाल्ड ट्रंप की हार के बाद 2022 में फिलीपींस में हुए चुनाव में रोड्रिगो दुर्तेते भी सत्ता से बाहर हो गए.  

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एक वारंट से दुर्तेते के अरमानों पर फिरा पानी

2020 में दुर्तेते खुलेआम कहा था कि ट्रंप को दोबारा चुनकर आना चाहिए, जिससे दुनिया का कल्याण हो सके. हालांकि, अमेरिका में 2020 के चुनाव में डोनाल्ड ट्रंप की हार के बाद 2022 में फिलीपींस में हुए चुनाव में रोड्रिगो दुर्तेते भी सत्ता से बाहर हो गए. चुनाव हारने के बाद से ही वो राजनीतिक रूप से हाशिये पर चले गए थे. लेकिन जब 2024 में ट्रंप ने अमेरिका में फिर से राष्ट्रपति पद हासिल किया, तो दुर्तेते को उम्मीद थी कि उनके लिए भी अच्छे दिन लौट आएंगे. दुर्तेते को भरोसा था कि ट्रंप के दोबारा सत्ता में आने के बाद उन्हें फिर से अंतरराष्ट्रीय मंच पर समर्थन मिलेगा और उनके राजनीतिक भविष्य को नई दिशा मिल सकती है. लेकिन इसी बीच इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट के एक वारंट ने उनके सभी मंसूबों पर पानी फेर दिया.

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