संयुक्त राष्ट्र ने की मंकीपॉक्स रिपोर्टिंग की निंदा, बताया नस्‍लवादी और होमोफोबिक

विश्व स्वास्थ्य संगठन को 21 मई तक कई यूरोपीय देशों, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा सहित 12 देशों की प्रयोगशालाओं से मंकीपॉक्स के 92 मामलों की पुष्टि की है. साथ ही 28 संदिग्ध मामलों की रिपोर्ट मिली है, जहां पर यह बीमारी स्‍थानीय नहीं है. 

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दुनिया में मंकीपॉक्‍स के 92 मामलों की अब तक पुष्टि हो चुकी है.
जिनेवा:

संयुक्त राष्ट्र (United Nations) की AIDS एजेंसी ने रविवार को मंकीपॉक्स वायरस (Monkeypox Virus) को लेकर हो रही कुछ रिपोर्टिंग को नस्लवादी (Racist) और होमोफोबिक बताया है. बीमारी के बढ़ते प्रकोप और इस तरह की प्रतिक्रिया को कम करने को लेकर चेतावनी दी है. UNAIDS ने कहा कि हाल ही में मंकीपॉक्स के मामलों का "एक निश्चित अनुपात में "गे, बायसेक्‍सुअल और पुरुषों के साथ यौन संबंध रखने वाले अन्य पुरुषों में पहचाना गया है." 

इस बात की सर्वाधिक संभावना है कि मंकीपॉक्स पीड़ित के साथ निकट शारीरिक संपर्क किसी अन्‍य व्‍यक्ति को भी प्रभावित कर सकता है. साथ ही कहा गया है कि अफ्रीकियों और एलजीबीटीआई समुदाय के लोगों का चित्रण "होमोफोबिक और नस्लवादी रूढ़ियों को मजबूत करता है और इस कलंक को और बढ़ाता है."

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विश्व स्वास्थ्य संगठन को 21 मई तक कई यूरोपीय देशों, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा सहित 12 देशों की प्रयोगशालाओं से मंकीपॉक्स के 92 मामलों की पुष्टि की है. साथ ही 28 संदिग्ध मामलों की रिपोर्ट मिली है, जहां पर यह बीमारी स्‍थानीय नहीं है. 

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UNAIDS के उप कार्यकारी निदेशक मैथ्‍यू कवानाघ ने कहा, "यह कलंक और दोष इस तरह के प्रकोप के दौरान प्रभावी ढंग से प्रतिक्रिया करने के लिए विश्वास और क्षमता को कमजोर करते हैं." 

मंकीपॉक्स के लक्षणों में बुखार, मांसपेशियों में दर्द, ठंड लगना, थकावट और हाथों और चेहरे पर चेचक जैसे दाने शामिल हैं. 

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