"सशस्त्र हमला...": रूस ने की अमेरिका-ब्रिटेन के यमन पर हमलों की निंदा

मध्य पूर्व के असिस्टेंट सेक्रेट्री जनरल खालिद खियारी ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UN On US-UK Strikes) में कहा, "हम हिंसा का चक्र देख रहे हैं, जिससे यमन और क्षेत्र में गंभीर राजनीतिक सुरक्षा, आर्थिक और मानवीय का खतरा है.

विज्ञापन
Read Time: 17 mins

रूस ने की यमन पर अमेरिका-ब्रिटेन के हमलों की निंदा.

नई दिल्ली:

लाल सागर में यमन समर्थित हूती विद्रोहियों (Houthi Rebel) के हमलों की खबरें थमने का नाम नहीं ले रही हैं. हूतियों के आतंक की खबरें लगातार सामने आ रही हैं. इसके जवाब में अमेरिका-यूके ने यमन पर हमला (US-UK Attack On Yemen) कर दिया. संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने सभी पक्षों से लाल सागर में अस्थिर स्थिति को "नहीं बढ़ाने" का आह्वान किया. उनके प्रवक्ता ने ये बात शुक्रवार को वाशिंगटन और लंदन द्वारा यमन के हूती विद्रोहियों पर हमले शुरू करने के बाद कही.

अमेरिका और ब्रिटेन ने यमन में हूतियों के ठिकानों पर हमले किए हैं. यमन की राजधानी सना में कम से कम तीन धमाके सुने गए. सना के अलावा सदाह, होदैदाह, तैज़ और धमर प्रशासनिक क्षेत्रों में भी हूती के ठिकानों को निशाना बनाया गया. इससे अन्य देश क्यों चिंता में हैं?

ये भी पढ़ें-गाजा में फिर ब्लैकआउट : इजरायल की भीषण बमबारी, जान बचाने की शहर में मची अफरा-तफरी

हूतियों के खिलाफ US-UK का हमला

हूतियों के खिलाफ शुक्रवार की सुबह हमलों की बौछार शुरू हो गई. हूती विद्रोहियों का कहना है कि वह गाजा के साथ एकजुटता से काम कर रहे हैं. बता दें कि लाल सागर में जहाजों पर विद्रोहियों के हमलों के बाद पूरे क्षेत्र में इजरायल-हमास युद्ध फैलने की आशंका पैदा हो गई है. UN सचिव एंटोनियो गुटरेज के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने कहा, "सेक्रेट्री जनरल ने इसमें शामिल सभी पक्षों से लाल सागर और व्यापक क्षेत्र में शांति और स्थिरता के हित में स्थिति को और अधिक न बढ़ाने का आह्वान किया है."

बाद में, मध्य पूर्व के असिस्टेंट सेक्रेट्री जनरल खालिद खियारी ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में कहा, "हम हिंसा का चक्र देख रहे हैं,  जिससे यमन और क्षेत्र में गंभीर राजनीतिक सुरक्षा, आर्थिक और मानवीय का खतरा है."उन्होंने कहा, "लाल सागर में यह घटनाक्रम और क्षेत्रीय तनाव बढ़ने का खतरा चिंता भरा है."

यमन में विमानों, युद्धपोतों और पनडुब्बियों से हमला

UN में रूस के राजदूत ने यमन के हूती विद्रोहियों पर अमेरिका-ब्रिटेन के हमले को "दूसरे देश के खिलाफ ज़बरदस्त सशस्त्र आक्रामकता" करार दिया. वासिली नेबेंज़्या ने अमेरिका और यूके की कार्रवाई के बारे में कहा," इन सभी राज्यों ने यमनी क्षेत्र पर बड़े पैमाने पर हमला किया. मैं देश के भीतर किसी समूह पर हमले के बारे में बात नहीं कर रहा, बल्कि पूरे देश के लोगों पर हमले के बारे में बात कर रहा हूं. विमानों, युद्धपोतों और पनडुब्बियों से हमला किया गया, इन हमलों को सहयोगी देशों का समर्थन प्राप्त है."

Advertisement

वहीं संयुक्त राष्ट्र में वाशिंगटन की राजदूत लिंडा थॉमस-ग्रीनफील्ड ने चेतावनी दी कि किसी भी देश के जहाज लाल सागर में नौवहन के लिए हूती विद्रोहियों द्वारा उत्पन्न खतरे से अछूते नहीं हैं. उन्होंने कहा कि चाहे आपके जहाज पर अमेरिकी झंडा लगा हो या किसी अन्य देश का, हमारे सभी जहाज असुरक्षित हैं.'' "अगर हूती विद्रोहियों को ईरान का समर्थन नहीं मिलता है तो वह लाल सागर में कमर्शियल जहाजों को आसानी से हमला नहीं कर पाएंगे." 

संयुक्त राष्ट्र में ब्रिटेन की राजदूत बारबरा वुडवर्ड ने कहा कि लंदन ने "आत्मरक्षा में सीमित, आवश्यक और आनुपातिक कार्रवाई की." उन्होंने कहा, "इस ऑपरेशन में नागरिकों के लिए खतरा कम पैदा करने को लेकर खास ध्यान रखा गया."

Advertisement

ये भी पढ़ें-अरब सागर में इंडियन नेवी का एक्शन, क्या चीन समेत दुनिया को दिखाया दमखम?

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)