"जहां तक कश्मीर मुद्दे का सवाल है...": बिलावल भुट्टो का संयुक्त राष्ट्र में बड़ा कबूलनामा

India- Pakistan Tension: बिलावल भुट्टो अभी अमेरिका में एक संसदीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे हैं, जो हाल के क्षेत्रीय तनावों पर इस्लामाबाद की पक्ष को रखने के लिए आया है.

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बिलावल भुट्टो के प्रतिनिधिमंडल ने संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस से मुलाकात की है
नयी दिल्ली:

पाकिस्तान के पूर्व विदेश मंत्री और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो जरदारी ने सार्वजनिक रूप से स्वीकार किया है कि अंतरराष्ट्रीय मंचों, विशेषकर संयुक्त राष्ट्र में कश्मीर मुद्दे को उठाने के इस्लामाबाद के प्रयासों को लगातार असफलताओं का सामना करना पड़ा है. मंगलवार को न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र के मुख्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन में बोलते हुए, बिलावल भुट्टो ने कहा, "जहां तक ​​​​संयुक्त राष्ट्र के भीतर और सामान्य तौर पर कश्मीर मुद्दे का सवाल है, हम जिन बाधाओं का सामना करते हैं, वे अभी भी मौजूद हैं."

बिलावल भुट्टो अभी अमेरिका में एक संसदीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे हैं, जो हाल के क्षेत्रीय तनावों पर इस्लामाबाद की पक्ष को रखने के लिए आया है. यह  प्रतिनिधिमंडल ऑपरेशन सिंदूर के नतीजे पर भी दुनिया को गुमराह करने की कोशिश में लगा है, जिसे भारत ने पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद शुरू किया था जिसमें 26 लोगों की जान चली गई थी.

संयुक्त राष्ट्र के अधिकारियों और राजनयिकों के साथ बातचीत के दौरान, बिलावल भुट्टो ने कहा कि जल विवाद और आतंकवाद जैसे विषयों पर पाकिस्तान बात करने को तैयार है.

भारत को कॉपी कर रहा पाकिस्तान

पाकिस्तान ने जिस तरह अपने प्रतिनिधिमंडल को विदेश भेजा है, वह पूरी तरह से अपनी संरचना में भारत के हालिया कूटनीतिक रणनीति पर आधारित दिख रहा है. भारत ने अपने कई सर्वदलीय संसदीय प्रतिनिधिमंडल को पहलगाम हमले और ऑपरेशन सिंदूर पर नई दिल्ली के स्टैंड को दुनिया के सामने रखने के लिए विश्व स्तर पर यात्रा भेजा है. अब पाकिस्तान भी ठीक इसी को कॉपी कर रहा है. इस्लामाबाद के इस कदम को विशेष रूप से प्रभावशाली पश्चिमी देशों में भारत के नैरेटिव को संतुलित करने के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है.

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सोमवार को न्यूयॉर्क पहुंचने के बाद से बिलावल भुट्टो के प्रतिनिधिमंडल ने संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस, महासभा के अध्यक्ष फिलेमोन यांग और सुरक्षा परिषद के अध्यक्ष कैरोलिन रोड्रिग्स-बिर्केट से मुलाकात की है.उन्होंने संयुक्त राज्य अमेरिका, चीन, रूस और फ्रांस के स्थायी प्रतिनिधियों, सुरक्षा परिषद के चार अन्य स्थायी सदस्यों के साथ-साथ गैर-स्थायी सदस्य देशों के प्रतिनिधियों के साथ भी बातचीत की.

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बुधवार को, पाकिस्तानी समूह का वाशिंगटन, डीसी में होने का कार्यक्रम है. खास बात है कि उसी समय वहां वरिष्ठ कांग्रेस सांसद शशि थरूर के नेतृत्व में एक भारतीय प्रतिनिधिमंडल की उपस्थिति भी होगी.

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