किम क्या जंग के मूड में? रूस भी दे रहा साथ, जानिए क्यों सुलग रहा फिर कोरिया प्रायद्वीप

उत्तर कोरिया और दक्षिण कोरिया के बीच विवाद पुराना है, लेकिन अब ये सुलगने लगा है. किम जोंग उन ने तो युद्ध तक की धमकी दे दी है. जानिए क्या है मामला...

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किम जोंग उन अब दक्षिण कोरिया को सीधे युद्ध की धमकी दे रहे हैं.

उत्तर कोरिया (north Korea) ने दक्षिण कोरिया से जुड़ने वाली सड़कों और रेलवे ट्रैक को डाइनामाइट से उठा दिया है. इसके साथ ही ड्रोन के जरिए उसके देश में घुसपैठ करने पर युद्ध की धमकी दी है.वह दक्षिण कोरिया (South Korea) की सीमा के पास परमाणु हमला करने में सक्षम हथियारों को सीमा पर तैनात कर रहा है. लेकिन क्यों? क्या किम जोंग उन दक्षिण कोरिया से युद्ध का मन बना चुके हैं या सिर्फ उसे डराना चाहते हैं?

अब समझौता नहीं चाहते

दशकों से, उत्तर कोरिया आधिकारिक तौर पर दक्षिण कोरिया को फिर से मिलाकर कोरिया देश बनाना चाहता था. उसके संविधान में भी उत्तर और दक्षिण कोरिया को एक करने की बात है,लेकिन जनवरी में, उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग (Kim Jong Un) उन ने दक्षिण कोरिया को अपना "प्रमुख दुश्मन" घोषित कर दिया. दक्षिण कोरिया से सभी संबंधों को समाप्त कर दिया और रिकॉर्ड से "सुलह" या "साथी देशवासियों" का उल्लेख हटा दिया.तब से, उत्तर कोरिया ने हथियारों का परीक्षण बढ़ा दिया है. दक्षिण कोरिया में कचरा ढोने वाले गुब्बारों से बमबारी की है. ड्रोन घुसपैठ करने पर युद्ध की धमकी दी है और दोनों देशों को जोड़ने वाली सड़कों और रेलवे ट्रैक को बम से उड़ा दिया है.

क्यूंगनाम यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर लिम ईउल-चुल ने एएफपी को बताया, "उत्तर कोरिया ने जो कहा था, वह बस उस पर अमल कर रहा है. वह दक्षिण कोरिया के साथ एकीकरण के किसी भी आधार को पूरी तरह खत्म करना चाहता है. किम ने हाल ही में यहां तक ​​कहा कि उनके देश को अब "दक्षिण कोरिया को आज़ाद कराने" में कोई दिलचस्पी नहीं है.

ध्यान भटकाने की चाल

इस गर्मी में उत्तर कोरिया के कई हिस्से विनाशकारी बाढ़ की चपेट में आ गए हैं और हजारों घर और खेत नष्ट हो गए. इसमें आम लोग भी मारे गए और विस्थापित हुए.दक्षिण कोरिया के अधिकारियों ने कहा है कि बढ़ते घरेलू असंतोष से ध्यान हटाने के लिए प्योंगयांग ने दक्षिण के साथ संघर्ष के इस नये दौर की साजिश रची हो सकती है.उत्तर कोरिया के अखबारों ने सियोल के प्योंगयांग के ऊपर ड्रोन उड़ाने की खबर को पहले पन्ने पर जगह दी. दक्षिण कोरिया की सेना ने कहा है कि यह साजिश उत्तर कोरियाई नागरिकों को एकजुट करने का एक प्रयास है. क्योंकि वहां की जनता किम परिवार की नकली तानाशाही से थक गए हैं.

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सियोल के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार शिन वोन-सिक ने कहा कि उत्तर कोरिया अपने अस्थिर आंतरिक मामलों पर अपनी पकड़ मजबूत करने के लिए तनाव बढ़ा रहा है.उन्होंने एक साक्षात्कार में कहा, "उत्तर कोरिया एक ऐसा शासन है, जो विरोधाभासी रूप से, अपने सिस्टम में बाहरी खतरों के अस्तित्व से अपनी स्थिरता बनाए रखता है.

उत्तर कोरिया का कहना है कि दक्षिण कोरिया की सेना अपनी सरकार को लेकर जनता के विरोध को रोकने के लिए राजधानी प्योंगयांग के ऊपर ड्रोन उड़ा रही है.उत्तर कोरिया के पास मजबूत हवाई सुरक्षा का अभाव है. वह दक्षिण कोरिया की तरफ से घुसपैठ को लेकर असुरक्षित है.सेजोंग इंस्टीट्यूट में कोरियाई प्रायद्वीप रणनीति के निदेशक चेओंग सेओंग-चांग ने कहा कि रिपोर्टों से पता चलता है कि ड्रोन उत्तर कोरिया की वर्कर्स पार्टी की केंद्रीय समिति के मुख्यालय के ऊपर हवाई क्षेत्र में उड़ा था. यह किम की सुरक्षा के लिए भी खतरा था.

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रूस आक्रामक

फरवरी 2022 में मॉस्को द्वारा यूक्रेन पर आक्रमण करने के बाद से ऐतिहासिक सहयोगी रूस और उत्तर कोरिया और भी करीब आ गए हैं.सियोल का दावा है कि किम कीव के खिलाफ इस्तेमाल करने के लिए मास्को में हथियार भेज रहा है, और यूक्रेनी राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की ने हाल ही में उत्तर कोरिया पर रूस की सेना में अपनी सेना भेजने का आरोप लगाया था.उत्तर कोरिया के सड़कों और रेलवे को उड़ाने पर चीन ने सभी पक्षों से तनाव से बचने का आग्रह किया है, लेकिन रूस ने ड्रोन के लिए सियोल को दोषी ठहराया और कहा कि यह उत्तर कोरिया की "संप्रभुता पर घोर अतिक्रमण" है.

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