अफगानिस्तान में तालिबान ने जब सत्ता अपने हाथों में ली, तब पाकिस्तान की चिंताएं भी बढ़ गईं. वजह है पाकिस्तान और तालिबान के बीच खिंची डूरंड लाइन. डूरंड लाइन लाइन लगभग 130 साल पहले अस्तित्व में आई थी. यहां इन दिनों पाकिस्तान और अफगानिस्तान की ओर से तोपें गरज रही हैं. हाल ही में हुई गोलीबारी में 3 अफगान नागरिकों की मौत हो गई. दरअसल, तालिबान ने कभी डूरंड लाइन को मान्यता नहीं दी है. इसलिए सालों से पाकिस्तानी और तालिबान के बीच इस सीमा को लेकर विवाद रहा है. डूरंड रेखा अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच की अंतरराष्ट्रीय सीमा है, जो 1893 में खींची गई थी. यह लगभग 2600 किलोमीटर लंबी है और पश्तून जनजातीय क्षेत्र से होकर दक्षिण में बलोचिस्तान तक जाती है. किसने खींची थी ये रेखा और क्यों डूरंड लाइन बनी हुई है जंग का मैदान आइए आपको बताते हैं.