- यूपी एटीएस ने संतकबीरनगर के ब्रिटिश नागरिक शमशुल हुदा पर विदेशी फंडिंग और धोखाधड़ी का आरोप लगाया है
- शमशुल हुदा ने मदरसों के लिए विदेश से फंड जुटाकर भारत में इस्लामी कट्टरपंथ को बढ़ावा दिया था
- जांच में पाया गया कि शमशुल हुदा पाकिस्तान और जम्मू-कश्मीर के संदिग्ध लोगों के संपर्क में था
यूपी के संतकबीरनगर में ब्रिटिश नागरिकता वाले शमशुल हुदा पर धोखाधड़ी और विदेशी फंडिंग के मामले में एफआईआर दर्ज की गई है. यूपी एटीएस (UP ATS) की जांच में ये पाया गया है कि शमशुल हुदा विदेशी फंडिंग जुटाकर इस्लामिक कट्टरपंथ को भारत मे बढ़ावा देता था. यूपी एटीएस की जांच में ये बताया गया कि इसके जम्मू कश्मीर के कुछ संदिग्ध लोगों के संपर्क में भी रहा है और कई बार पाकिस्तान के अलग-अलग इलाके की यात्राएं की है.
यूपी एटीएस की जांच रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि मौलाना शमशुल हुदा खान, जिसने 2013 में ब्रिटेन की नागरिकता हासिल की थी, भारत में इस्लामी कट्टरपंथ को बढ़ावा देने की कोशिश कर रहा था. मौलाना पर मदरसों के लिए विदेश से फंड इकट्ठा करने में "दलाली" करने और विदेशी मुद्रा व्यवस्था अधिनियम का उल्लंघन करने का आरोप है.
इस मामले के सामने आने के बाद आजमगढ़ और संत कबीर नगर में चल रहे उनके दोनों मदरसों की मान्यता रद्द करके उसे सील कर दिया गया है. साथ ही, उसके एनजीओ रजा फाउंडेशन का रजिस्ट्रेशन भी कैंसिल कर दिया गया है. जांच में यह भी सामने आया है कि शमशुल हुदा इस्लाम के प्रचार के नाम पर लगातार पाकिस्तान जाता रहा है और वहां के कई कट्टरपंथी मौलानाओं और संदिग्धों के संपर्क में है. इसके अलावा, उसके संबंध जम्मू-कश्मीर के कई संदिग्धों के नेटवर्क से भी जुड़े हैं.
इसके अलावा मदरसे में अपनी नौकरी के दौरान शमशुल हुदा खान के कई बार विदेश जाने, विदेशों से इस्लाम के प्रचार के लिए अवैध फंडिंग इकट्ठा कर उसमें से अपना कमीशन काट कर मदरसों तक पहुंचाता था.
इसे भी पढ़ें :- लड़की ने पुल से लगा दी छलांग, तभी लड़के ने थाम लिया हाथ... यूपी में फिल्मी अंदाज में बचाई जान














