Delhi | Reported by: भाषा |बुधवार दिसम्बर 18, 2019 09:29 AM IST चंद्रशेखर ने कहा, ‘यह पत्थर प्रदर्शनकारियों ने नहीं फेंका था, बल्कि जाफराबाद में स्थित किसी घर में से फेंका गया था. इस पर चालक को अंदाजा हो गया कि स्थिति तनावपूर्ण हो सकती है और उसने बस में बैठे छात्र के माता-पिता को कॉल किया.’ उन्होंने कहा कि छात्र को जहां छोड़ना था, बस उससे कुछ मीटर की दूरी पर थी, लेकिन चालक ने उसके माता-पिता को कॉल करके निर्धारित स्टॉप से पहले बुला लिया.