छत्तीसगढ़ के कण-कण में रचे बसे हैं भगवान राम : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल

छत्तीसगढ़ के रायगढ़ में राष्ट्रीय रामायण महोत्सव का शुभारंभ, देश के 12 राज्यों के अलावा इंडोनेशिया और कंबोडिया की मानस मंडलियां प्रस्तुतियां देंगी

विज्ञापन
Read Time: 5 mins
छत्तीसगढ़ के रायगढ़ में तीन दिन के राष्ट्रीय रामायण महोत्सव का शुभारंभ हुआ.
रायपुर:

छत्तीसगढ़ के रायगढ़ में आज मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राष्ट्रीय रामायण महोत्सव का शुभारंभ किया. तीन दिनों तक चलने वाले रामायण महोत्सव के शुभारंभ पर हनुमान चालीसा का पाठ किया गया. रामायण महोत्सव में मध्यप्रदेश, झारखंड समेत 12 राज्यों और इंडोनेशिया व कंबोडिया की मानस मंडली अरण्य कांड पर प्रस्तुति देंगी. शुभारंभ अवसर पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि भगवान राम छत्तीसगढ़ के कण-कण में रचे बसे हैं.

छत्तीसगढ़ के रायगढ़ में राष्ट्रीय रामायण महोत्सव का आज शुभारंभ हुआ. छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद से छत्तीसगढ़ की परंपरा और संस्कृति को देश में पहचान दिलाने के मकसद से राम वन गमन पथ निर्माण, माता कौशल्या महोत्सव के बाद रामायण महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है. भगवान राम ने 14 साल के वनवास में 10 साल छ्त्तीसगढ़ में गुजारे थे. यही वजह है कि छ्त्तीसगढ़  की संस्कृति में भगवान राम बसे हैं. छ्त्तीसगढ़ माता कौशल्या की जन्मस्थली होने की वजह से भगवान राम को छ्त्तीसगढ़ के लोग भांजा बोलते हैं और भांजे के चरण स्पर्श की परंपरा है. 

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मंच से कहा कि भगवान राम हमारी संस्कृति में रचे बसे हैं.

राष्ट्रीय महोत्सव में केरल, कर्नाटक,ओडिशा,असम, गोवा, पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, हिमाचल महाराष्ट्र, झारखंड, मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ की टीमें अपनी प्रस्तुति देंगी. तीन दिनों तक चलने वाले महोत्सव के समापन पर कवि कुमार विश्वास अपने-अपने राम म्युजिक नाईट की प्रस्तुति देंगे.

रामायण महोत्सव से दुनिया जानेगी कि भगवान राम का छत्तीसगढ़ से क्या रिश्ता है और लोगों के भगवान राम कैसे रचे बसे हैं. इस आयोजन से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राजनीतिक संदेश दिया है कि भगवान राम किसी विशेष पार्टी के नहीं हैं, बल्कि कांग्रेस भी भगवान राम की राह पर है.

Featured Video Of The Day
Dharmendra Passes Away: Dharmendra के अंतिम संस्कार का सच? |Syed Suhail | Bharat Ki Baat Batata Hoon
Topics mentioned in this article